जेल में बंदी ने बिजली केबल से लगाई फांसी

हरिभूमि न्यूज. जींद
उचाना थाना के बहुचर्चित चूरापोस्त मामले के एक आरोपित ने जिला कारागार में बिजली केबल से फांसी का फंदा लगा लिया लेकिन ब्लॉक निगरान का ध्यान उसकी तरफ चला गया और उसे तुरंत फांसी के फंदे से उतार सामान्य अस्पताल पहुंचाया।
सिविल लाइन थाना पुलिस ने जेल उपाधीक्षक की शिकायत पर बंदी के खिलाफ आत्महत्या की कोशिश का मामला दर्ज किया है। पुलिस मामले की जांच कर रही है। जेल उपाधीक्षक सचिन कुमार ने पुलिस को दी शिकायत में बताया कि गांव लिलयानी तरावड़ी करनाल निवासी गुरिंद्र को चूरापोस्त तस्करी मामले में 15 अप्रैल को जिला कारागार में बंद किया गया था। जिसे बैरक नम्बर 12 के डी ब्लॉक में रखा गया था। बीती रात गुरिंद्र ने बिजली की केबल से फांसी लगा ली।
ब्लॉक की निगरानी के लिए तैनात निगरान ने उसे देख लिया और अन्य बंदियों की सहायता से उसे फांसी के फंदे से उतारा। जेल स्थित पीएचसी ले जाया गया, जहां पर प्राथमिक उपचार देने के बाद उसे सामान्य अस्पताल रेफर कर दिया। सिविल लाइन थाना पुलिस ने जेल उपाधीक्षक की शिकायत पर गुरिंद्र के खिलाफ आत्महत्या की कोशिश का मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। सिविल लाइन थाना प्रभारी राजेंद्र ने बताया कि आरोपित चूरापोस्त तस्करी के मामले में जिला कारागार में बंद है। जेल उपाधीक्षक ने बंदी द्वारा फांसी का फंदा लगाकर आत्महत्या करने की कोशिश का आरोप लगाते हुए शिकायत दी थी। जिस पर बंदी के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया गया है।
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