जीद : कहर बनकर टूटी बरसात, ग्रामीणों ने पानी निकासी की मांग को लेकर जींद- रोहतक मार्ग पर लगाया जाम

हरिभूमि न्यूज़ : जींद (जुलाना)
क्षेत्र के गांव बुढ़ा खेड़ा लाठर की महिलाओं ने बरसाती पानी की निकासी की मांग को लेकर जींद रोहतक मार्ग पर किलाजफरगढ़ गांव के पास जाम लगा दिया। जाम में सैंकड़ों वाहन फंस गए।
बुढाखेड़ा निवासी सुभाष, कंवर सिंह, अजमेर, बबली,कविता आदि ने बताया कि किलाजफरगढ़ माइनर में प्रशासन द्वारा लजवाना कलां, सिरसा खेड़ी, नंदगढ़ गांवों का बरसाती पानी डाला जा रहा है जिसके चलते किलाजफरगढ़ और बुढ़ा खेड़ा गांव के खेतों के साथ साथ गांवों में भी पानी भर गया है। बरसाती पानी से तालाब ओवरफ्लो हो गया है। निकासी नहीं होने से पानी रिहायशी मकानों में घुस रहा है। मकान भी गिरने की कगार पर हैं। कई बार वो इसकी शिकायत को लेकर अधिकारियों से भी गुहार लगा चुके हैं लेकिन कोरा आश्वासन ही उन्हें हाथ लगा है। ग्रामीणों की मांग है कि गांव में निकासी व्यवस्था की जाए ताकि उन्हें हो रही परेशानियों से निजात मिल सके । सूचना पाकर जुलाना के सिंचाई विभाग के एसडीओ मौके पर पहुंचे और पानी को माइनर में नही डालने का आस्वासन दिया। आस्वासन के बाद ग्रामीणों ने जाम को खोल दिया।
बुढा खेड़ा लाठर गांव में निकासी व्यवस्था की मांग को लेकर जुलाना में जींद रोहतक मार्ग पर जाम लगा दिया था। सूचना मिलते ही प्रशासन मौके पर पहुंच गया था। ग्रामीणों को आस्वासन दिया गया है कि जल्द से जल्द निकासी व्यवस्था का प्रबंंध किया जाएगा। - जितेंद्र सिंह दहिया, एसडीओ सिंचाई विभाग जुलाना।
बरसाती पानी की निकासी के लिए काटी माइनर
क्षेत्र के गांव बराड़ खेड़ा के खेतों बरसाती पानी की निकासी के लिए बुआना माइनर को काट दिया। सूचना पाकर बुआना गांव के ग्रामीण मौके पर पहुुंचे और टूटी माइनर को मिट्टी से बंद कर दिया। बुआना गांव के ग्रामीणों ने आरोप लगाया कि अगर पानी बुआना गांव की ओर जाता है तो गांव में बाढ़ आ जाएगी और घरों में पानी घुसेगा जिससे जन जीवन अस्त व्यस्त होगा। गत वर्ष भी इसी माइनर को काटने को लेकर विवाद हुआ था। इसके अलावा 1995 की बाढ़ के दौरान भी बराड़ खेड़ा और बुआना दोनों गांवों का विवाद हुआ था। गत वर्ष हुए मामले में दर्जनों लोगों के खिलाफ मामला भी दर्ज करवाया गया है। बराड़ खेड़ा गांव में बरसात के कारण सैकड़ों एकड़ फसल जलमग्र है। बरसाती पानी से धान की फसल खराब होने की कगार पर है। खेतों में तीन से चार फीट तक पानी खड़ा है। किसी अज्ञात व्यक्ति ने निकासी के लिए बुआना माइनर को काट दिया और पानी का रूख बुआना की ओर कर दिया। सूचना पाकर बुआना गांव के सैकड़ों लोग मौके पर पहुंचे और मिट्टी से माइनर को बंद कर दिया। बुआना गांव के ग्रामीणों का कहना है कि किसी भी कीमत पर निकासी के लिए माइनर को नहीं काटने दिया जाएगा।
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