राकेश टिकैत बोले - कोई किसान नेता बागी नहीं, गुरनाम सिंह चढूनी को भी समझा देंगे

हरिभूमि न्यूज : हांसी ( हिसार)
टोहाना में पुलिस द्वारा गिरफ्तार किए गए किसानों की रिेहाई की मांग को लेकर भारतीय किसान यूनियन के नेता राकेश टिकैत किसानों के साथ रामायण टोल पर धरने पर बैठ गए हैं। बृहस्पतिवार शाम को वे धरने पर बैठे थे और शुक्रवार को दिनभर उन्होंने किसानों के साथ रामायण टोल पर धरना दिया। राकेश टिकैत ने कहा कि किसानों ने यहां दिल्ली हिसार हाइवे को जाम किया हुआ है। यह जाम तभी खुलेगा जब किसान रिहा हो जाएंगे। टिकैत ने कहा कि कोई किसान नेता बागी नहीं है। फतेहाबाद पुलिस द्वारा गिरफ्तार किए गए किसान पिछले 6 महीने से तीन कृषि कानूनों को रद करने की मांग को लेकर व एमएसपी की गारंटी को लेकर लगातार धरना दे रहे हैं।
किसान नेता गुरनाम सिंह चढ़ूनी द्वारा पकड़े गए किसानों को बागी बताए जाने के सवाल पर राकेश टिकैत ने कहा कि कोई बागी नहीं है। उन्होंने जो बयान दिया है, इसके लिए वे गुरनाम सिंह चढ़ूनी को भी समझा देंगे। गिरफ्तार किए गए कुछ लोग पुलिस ने छोड़ दिए हैं, जबकि कुछ को अभी तक नहीं छोड़ा गया है। जब कोई मामला हुआ है तो सबने ही किया है। जिनको पकड़कर रखा है वे कोई दूसरी जगह से थे क्या। टिकैत ने कहा कि हाइवे को पुलिस प्रशासन ने जाम कर रखा है। पुलिस किसानों को छोड़ दे और अपनी व्यवस्था बना ले। किसान नेता राकेश टिकैत उगालन गांव पहुंचे। इस दौरान उन्होंने हिसार क्रांतिमान पार्क धरने में शहीद हुए किसान रामचंद्र के निधन पर शोक जताया। वे उमरा गांव में भी एक किसान के घर शोक प्रकट करने गए। उन्होंने खांडाखेड़ी व पुट्ठी सैमाण गांव में किसान पंचायतों को संबोधित किया।
किसान नेताओं की अलग अलग बयानबाजी से आहत हूं : बलराज कुंडू
तीन कृषि कानूनों को रद करने की मांग कर रहे किसानों के हक में प्रदेश सरकार से अपना समर्थन वापस लेने वाले महम से निर्दलीय विधायक बलराज कुंडू शुक्रवार को रामायण टोल पर पहुंचे। उन्होंने राकेश टिकैत से लंबी बातचीत की। उन्होंने कहा कि वे किसान नेताओं की अलग अलग बयानबाजी से आहत हैं। इस संबंध में उन्होंने भाकियू नेता राकेश टिकैत से भी फोन पर बातचीत की है। कुंडू ने कहा कि भाजपा नेता किसान आंदोलन को भटकाने का प्रयास कर रहे हैं। किसान नेताओं के बीच फूट डालने का काम टोहाना में हुआ। गुरनाम सिंह चढ़ूनी ने एक बयान जारी कर टोहाना में पुलिस द्वारा गिरफ्तार किए गए किसानों को बागी बताया था। लेकिन राकेश टिकैत किसानों के बीच धरने पर आ गए हैं। इसी संबंध में आज उनकी यह मुलाकात हुई है। किसान आंदोलन को किसी भी कीमत पर दो फाड़ नहीं होने दिया जाएगा।
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