Rewari : शिक्षा ग्रहण करने के लिए छात्राओं काे भीषण गर्मी में करना पड़ रहा 12 किलोमीटर का पैदल सफर

Rewari : शिक्षा ग्रहण करने के लिए छात्राओं काे भीषण गर्मी में करना पड़ रहा 12 किलोमीटर का पैदल सफर
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  • वाहन सुविधा न होने से विद्यार्थियों व अभिभावकों में भारी रोष
  • छात्राओं के उत्थान का राग अलाप रही सरकार, सुविधा के नाम पर स्कूल जाने के लिए साधन तक नहीं

Rewari : सरकार बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ अभियान के तहत छात्राओं के उत्थान का राग अलाप रही है, लेकिन सच्चाई यह है कि आज भी छात्राओं को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। साधनों के अभाव में छात्राएं भीषण गर्मी में लू के थपेड़ों को सहन करते हुए करीब 12 किलोमीटर पैदल चलकर स्कूलों में शिक्षा ग्रहण करने को विवश हैं। इस समस्या को लेकर छात्राओं व अभिभावकों में रोष है। हालांकि महिला शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए सरकार की ओर से हर संभव प्रयास किए जा रहे हैं। सरकार महिला विकास निगम हरियाणा के माध्यम से लड़कियों व महिलाओं को देश-विदेश में उच्च शिक्षा प्राप्त करने के लिए बैंकों के माध्यम से 5 फीसदी अनुदान पर ऋण उपलब्ध करा रही है, लेकिन जिले में कई जगह सुविधा नहीं मिलने से छात्राएं परेशानी झेल रही है।

तीन गांवों के विद्यार्थियों को परेशानी

राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय नाहड़ में पढ़ने वाली छात्राएं आज भी करीब 12 से 15 किलोमीटर का पैदल सफर तय करके शिक्षा ग्रहण कर रही हैं। खंड नाहड़ के गांव भड़ंगी, कोहारड़ व मुमताजपुर के सैकड़ों विद्यार्थी शिक्षा ग्रहण करने के लिए राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय नाहड़ आते हैं, लेकिन प्रशासन की ओर से साधनों का इंतजाम न होने के कारण उन्हें चिलचिलाती धूप में पैदल ही आना-जाना पड़ता है। छात्रा अंजली, अन्नू, सविता, प्रिया, मनीषा, खुशबू, रितिका, अंशु, राधिका, खुशी, दीपिका, प्रीति, नेहा, प्रियंका, नवराज व अनुज ने बताया कि उनके गांव से स्कूल जाने के लिए सरकारी व प्राइवेट किसी भी वाहन की सुविधा नहीं है। उन्हें रोजाना पढ़ने के लिए मजबूरन पैदल जाना पड़ता है। भारी भरकम बैग के साथ चिलचिलाती धूप में आना-जाना बड़ा मुश्किल होता है।

प्रशासन से लगाई गुहार

भड़ंगी तथा मुमताजपुर के सरपंच व अभिभावक सोमबीर, संदीप, छोटूराम, कमल सिंह, बलजीत, विनोद, कमल, रणवीर सिंह, दिनेश सतीश सिंह ने बताया कि बच्चों को स्कूल जाने के लिए काफी समस्या का सामना करना पड़ रहा है। इस रूट से सैकड़ों बच्चे स्कूल जाते हैं, जिनमें काफी संख्या में लड़कियां हैं। व्हीकल के अभाव में कई बच्चियों ने तो पढ़ना ही छोड़ दिया है। समस्या को लेकर कई बार उच्च अधिकारियों को अवगत करवाया जा चुका है, लेकिन समाधान नहीं हो पाया। उन्होंने प्रशासन से जल्द से जल्द बच्चों के स्कूल जाने के लिए रोडवेज बस या अन्य साधनों की व्यवस्था करने की गुहार लगाई।

ऑटो की व्यवस्था की जाएगी

राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय नाहड़ के प्राचार्य शिवराज सिंह चौहान ने बताया कि इस संदर्भ में स्टाफ मीटिंग करके यह निर्णय लिया गया है कि जब तक सरकार की ओर से सुविधा मुहैया नहीं होती, तब तक बच्चों के हित को देखते हुए स्टाफ सदस्यों की ओर से ऑटो की व्यवस्था की जाएगी ताकि गर्मी में बच्चों को सुविधा मिल सके।

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