रोहतक के सिविल अस्पताल को फिर मिला एनक्वास सर्टिफिकेट, हर पैमाने पर खरा

हरिभूमि न्यूज : रोहतक
सिविल अस्पताल एक बार फिर एनक्वास के पैमाने पर खरा उतरा है। सुविधाएं और कार्यप्रणाली परखने के बाद अस्पताल को दोबारा एनक्वास सर्टिफिकेट मिला है। सर्टिफिकेट का फायदा ये होगा कि और ज्यादा सुविधाएं बढ़ेंगी। कर्मचारियों को प्रोत्साहन मिलेगा और मरीजों के इलाज के लिए नए उपकरण आएंगे। हालांकि अभी तक सर्टिफिकेट के तहत मिलने वाली राशी नहीं आई है, लेकिन राशि आने के बाद अस्पताल को और चमका दिया जाएगा। एनक्वास का सर्टिफिकेट सिविल अस्पताल के 15 विभागों को हर पैमाने पर परखने के बाद ही दिया गया है। इससे स्वास्थ्य विभाग गदगद है।
बता दें कि पिछले साल एनक्वास मूल्यांकन नहीं हो पाया था। दरअसल पिछले साल कोरोना के कारण एनक्वास की टीम न तो आ पाई थी और न ही ऑनलाइन कर पाए थे। इस बार 10,11 और 12 अगस्त को ऑनलाइन मूल्यांकन किया गया। मूल्यांकन करने वाली टीम में कर्नाटक से डॉ. संपत सिंह और महाराष्ट्र से डॉ. शमा बानो शामिल रही। लगातार तीन दिनों तक टीम ने अस्पताल के हर विभाग की बारीकी से परख की। टीम ने 21 सितंबर को अपना रिजल्ट दिया और सिविल अस्पताल को दोबारा एनक्वास सर्टिफिकेट मिला।
15 विभाग पैमाने पर खरे
सिविल अस्पताल में ऑनलाइन मूल्यांकन में 15 विभागों की सुविधाएं जांची की। ओपीडी, आईपीडी, बाल रोग विभाग, न्यूनेटल केयर यूनिट, लेबर रूम, ऑपरेशन थिएटर, ब्लड बैंक, फार्मेसी, ओबजनरी, एमआरडीजनरल एडमिन, पीपीसी में सुविधाएं देखी गई और इन विभागों के काम करने का तरीका भी परखा। जिस पर सभी विभाग खरे उतरे।
हर बेड को 10 हजार रुपये
सिविल अस्पताल को एनक्वास सर्टिफिकेट मिलने का बड़ा फायदा होगा। अब हर बेड के लिए 10 हजार रुपये हर साल दिए जाएंगे। अस्पताल में करीब 100 बेड हैं, इन सभी सुविधाएं और बढ़ा दी जाएंगी। सर्टिफिकेट के तहत जो राशी मिलेगी उसका 25 प्रतिशत हिस्सा कर्मचारियों के प्रोत्साहन पर खर्च किया जाएगा। उनकी वर्दी, जूते या अन्य सुविधाएं मिलेंगी। इसके अलावा 75 प्रतिशत रुपये मरीजों की सुविधा पर खर्च होंगे। अगर किसी उपकरण की जरूरत है तो खरीदा जाएगा, एसी नहीं है तो लगवाया जाएगा।
गर्व की बात
दूसरी बार एनक्वास सर्टिफिकेट मिलना अस्पताल के लिए गर्व की बात है। कर्मचारियों की मेहनत और मरीजों के प्रति समर्पण ने ही सर्टिफिकेट दिलवाया है। इसके लिए अस्पताल का हर कर्मचारी बधाई का पात्र है। अब अस्पताल में और सुविधाएं बढ़ाई जाएंगी। मरीजों के लिए नए उपकरण खरीदे जाएंगे। - डॉ. रमेश चंद्र, एसएमओ, सिविल अस्पताल रोहतक
© Copyright 2025 : Haribhoomi All Rights Reserved. Powered by BLINK CMS
-
Home
-
Menu
© Copyright 2025: Haribhoomi All Rights Reserved. Powered by BLINK CMS