सोलर वॉटर पंप की न तो जगह बदल सकते और न ही किसी को बेच सकते हैं किसान

कैथल : मुख्य परियोजना अधिकारी एवं अतिरिक्त उपायुक्त विरेंद्र सहरावत ने बताया कि हरियाणा सरकार के नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा विभाग द्वारा अनुदान पर दिए गए सोलर वॉटर पंप को किसी अन्य को बेचने या किसी दूसरी जगह पर कृषि सिंचाई की बजाए सिस्टम को अन्य तरीके से उपयोग करने बारे शिकायतें जिला प्रशासन के संज्ञान में आ रही हैं। अ
तिरिक्त उपायुक्त विरेंद्र सहरावत ने स्पष्ट कहा कि निर्धारित की गई जगह के अलावा सोलर पंप सेट दूसरी जगह लगाया जाता है तो किसान को सब्सिडी का अधिकार नही है और किसी अन्य को बेच दिया तो उसके खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने कहा कि सोलर सिस्टम पर 75 प्रतिशत अनुदान दिया गया है और इसका उद्देश्य बिजली व डीजल की खपत को कम करने के साथ-साथ पर्यावरण को दूषित होने से बचाना भी है। सोलर पंप के लिए निर्धारित की गई जगह से दूसरी जगह सिस्टम को नहीं लगा सकते और न ही कंपनी ऐसा कर सकती। ऐसा करने से सरकार 75 प्रतिशत सब्सिडी की राशि वापिस लेने की हकदार होगी और कंपनी द्वारा दी गई गारंटी भी खत्म हो जाएगी। अधिकारी किसी भी समय किसानों को दिए गए सोलर पंप सिस्टम का निरीक्षण कर सकते हैं तथा निरीक्षण के समय लगाए गए पंप अपने स्थान पर न मिलने पर किसान पर कार्यवाही की जाएगी।
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