दुल्हन बनकर सजी बैठी थी दो बहनें, पहुंचने ही वाली थी बारात, और तभी फिर

हिसार जिले के गांव नियाणा में दो बहनों की शादी समारोह की तैयारियां पूरी हो चुकी थी और कुछ ही घंटों में बारात भी पहुंचने वाली थी। दोनों बहनें दुल्हन बनकर सजी बैठी थी। लेकिन तभी बारात के आने से पहले ही बाल विवाह निषेध अधिकारी बबीता चौधरी गांव में उनके घर पहुंच गई और दोनों लड़कियों की शादी रुकवा दी। जांच में पता चला कि ये दोनों बहनें नाबालिग थी। इसके बाद लड़के वालों को भी बारात ना लाने के लिए कहा गया।
बाल विवाह निषेध अधिकारी के सहायक सचिन मेहता ने बताया कि उनको सूचना मिली थी कि गांव नियाणा में दो बहनों की शादी होनी है जोकि नाबालिग हैं। इस पर बाल विवाह निषेध अधिकारी बबीता चौधरी पुलिस टीम के साथ तुरंत गांव में पहुंची। बबीता चौधरी ने दोनों बहनों की आयु का प्रमाण मांगा जांच में पता चला कि दोनों बहनें ही नाबालिग थी। सचिन मेहता ने बताया कि परिजनाें ने जो प्रमाण दिए थे उनमें एक लड़की की उम्र 16 साल और दूसरी की उम्र 17 साल 9 महीने मिली। टीम ने लड़की के परिवार वालों से बालिग होने पर ही शादी करने संबंधी शपथ पत्र लिया है।
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