सराहनीय कार्य : उम्मीद फाउंडेशन ने किया एक और जिंदगी को खुशहाल, चलने-फिरने में असमर्थ व्यक्ति को कृत्रिम टांग उपलब्ध करवा की मदद

अंबाला। सामाजिक संस्था उम्मीद फाउंडेशन निरंतर जरूरतमंद परिवारों की मदद कर रही है। अब संस्था की ओर से एक इंसान की नीरस और उदास जिंदगी में खुशियों के रंग भरकर उसका जीवन खुशहाल बनाने का प्रयास किया है। फाउंडेशन एक बार फिर बहुत ही कम समय में एक लाचार, अपाहिज जरूरतमंद को कृत्रिम टांग उपलब्ध कराकर उसे सम्मान से खड़े होने की ताकत देकर आत्मनर्भिर जीवन जीने की सौगात दी।
प्रधान मनप्रीत सिंह ने बताया कि कुछ दिनों पहले उन्हें सूचना मिली थी कि बराड़ा के रजनीश पाहवा अपनी तंगहाली के कारण अपाहिज अवस्था में जीवनयापन कर रहे हैं। वह ऑटो चलाने का काम करते थे मगर पुरानी कृत्रिम टांग की हालत इतनी खराब थी, कि रिपेयर भी नहीं हो सकती थी। पता चलने पर फाउंडेशन के सदस्यों ने उनका ईलाज कराने और उन्हें कृत्रिम टांग उपलब्ध कराने का निर्णय लिया। फाउंडेशन के सदस्यों ने समाज के लोगों से इस जरूरतमंद परिवार की मदद के लिए आगे आने का आह्वान किया, जिस पर समाज के दानी सज्जनों के साथ-साथ फाउंडेशन के सदस्यों ने बढ़चढ़ कर अपनी भूमिका निभाई और कुछ ही समय में एक अपाहिज जरूरतमंद व्यक्ति को आत्मनर्भिरता के साथ जीवन जीने का सम्मान मिला। मनप्रीत सिंह और सभी सदस्यों ने सभी दानियों का आभार जताते हुए कहा कि आप सबके सहयोग से किसी का जीवन खुशियों में बदलने की यह सेवा भी सम्पन्न हुई। पीड़ित रजनीश ने बताया कि वह अपनी आर्थिक स्थिति ठीक न होने के कारण तंगहाली में जैसे-तैसे जीवन गुजार रहा था। मगर पुरानी टांग के टूट जाने के कारण उसे अपने परिवार का पालन-पोषण करने में भी दिक्कत आ रही थी जिस पर उम्मीद फाउडेशन ने मदद की।
कई जरूरतमंदों को मकान बना चुकी है संस्था
बता दें कि उम्मीद फाउंडेशन बिना किसी सरकारी सहायता के समाज और अपने सदस्यों के सहयोग से समाजसेवा के कार्यों को निस्वार्थ भाव से कर रही है, जिसका उद्देश्य समाज के अति पिछड़े और जरूरतमंद परिवार की मदद कर उसके जीवन को संवार कर उसे खुशहाल बनाना है। इससे पहले भी उम्मीद फाउंडेशन हर तरफ से निराश लोगों की मदद कर अपनी मानवता के उदाहरण पेश कर चुका है, जिसकी श्रृंखला में अब तक 5 असहाय परिवारों को मकान बनाकर देने, एक गरीब कन्या की शादी, एक दिव्यांग बच्चे को इलेक्ट्रिक ट्राई साइकिल देने, विभन्नि परिस्थितियों में दो मरीजों को दीपक और सुभाष चंद रूकड़ी को उनके इलाज के लिए लगभग 60 हजार रुपए की वित्तीय सहायता उपलब्ध कराने, दुर्घटनावश आग में झुलसी एक प्रवासी बच्ची का इलाज कराने, कुत्ते द्वारा हमलाकर बुरी तरह से जख्मी एक बच्ची के इलाज कराने के साथ साथ कोरोना काल में हजारों लोगों को भोजन उपलब्ध करवाना शामिल है। इसके अलावा फाउंडेशन पौधारोपण, छबील, सर्दियों में झुग्गी झोपड़ियों में रहने वाले लोगों को गरम कपड़े-कम्बल इत्यादि देना, जरूरतमंद स्कूली बच्चों को गरम वर्दियां-पाठन सामग्री-जूते आदि मुहैया कराने और समय समय पर भूखे लोगों के लिए लंगर सेवाएं देकर मानवता की सेवा के अपने उद्देश्य पर कार्यरत है।
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