वीडियो वायरल : नक्शा पास करने की एवज में जेई को 1 लाख रिश्वत देने का आरोप

हरिभूमि न्यूज : नारनौल
नगर परिषद के जेई विकास को नक्शा पास करने की एवज में एक लाख रिश्वत देने का आरोप लगाते हुए एक वीडियो शुक्रवार को सोशल मीडिया पर वायरल हुई। वीडियो में लगाए गए आरोपों को जेई विकास ने सिरे से नकारा है। इस वीडियो के सोशल मीडिया पर वायरल होने के बाद नगर परिषद की चेयरपर्सन भारती सैनी ने नप अधिकारियों को मामले की जांच करने की बात कही है। वीडियो में व्यक्ति खुद को शहर में बहरोड रोड रेलवे अंडरपास के नजदीक रहने वाला दिनेश कुमार बता रहा है।
इस वीडियो में यह व्यक्ति कह रहा है कि नगर परिषद ने 18 मार्च को उसकी दुकान को नक्शा पास नहीं होने के कारण सील कर दिया था। उसके बाद नप प्रशासन के कहने के अनुसार 12 अप्रैल को तीन लाख 18 हजार का एचडीएफएस बैंक का चेक बतौर जेई विकास को दिया। जोकि जेई विकास लापरवाही बरतता है कि आज तक उस बात को लगभग ढाई माह बीत चुके हैं। पैमेंट जमा करवाए हुए। आज तक नक्शा पास नहीं किया। उसने एक लाख की रिश्वत नकद प्राप्त की। जेई विकास ने डराया-धमकाया। कहा कि आपकी बिल्डिंग को तोड़-फोड़ देंगे। यह पैसा जमा करवा दो। उसे एक लाख रुपये रिश्वत भी दी। अब वह उसके पास बार-बार फोन कर रहा है, फिर भी वह फोन का कोई जवाब नहीं दे रहा। ना ही नक्शा दे रहा और ना ही बात कर रहा है। सिर्फ डराता-धमकाता है। यह लापरवाही वाला अधिकारी है। इससे वह परेशान है। नगर परिषद के अधिकारी ईओ से निवेदन करता हूं कि विकास जेई से नक्शा दिलवाया जाए। जेई विकास के खिलाफ कार्रवाई की जाए। वह स्पष्ट तौर पर कह रहा है कि जेई विकास ने एक लाख रुपये नकद प्राप्त किए। मांग है कि जेई विकास के खिलाफ कार्रवाई की जाए।
जेई बोले... आरोप निराधार, आरोप सिद्ध करें
इस संबंध में जेई विकास ने बताया कि ईओ केके यादव के नेतृत्व में बहरोड रोड रेलवे अंडरपास के पास एक मिठाई की दुकान सील की थी। जिस दिन ऑनलाइन फाइल जमा हुई, उसी दिन रसीद काट दी गई थी। निजी तौर पर यह व्यक्ति कभी भी मुझसे नहीं मिला और ना ही आफिस आया। यह जबरदस्ती बदनामी की बात कर रहा है। कोई रोल ही नहीं है। अगर कोई पैसा लिया है तो फ्रूफ करें। इस दिनों पोर्टल अपडेशन का काम चल रहा है। पोर्टल प्रोसेस में है। मेरे लेवल पर यह काम पेंडिंग नहीं है। मुख्य कारण यह है कि इस व्यक्ति का मैंने फोन रिसीव नहीं किया। केवल इसी कारण यह ऐसे आरोप लगा है। आरोप सिद्ध करें वरना मनगढ़त आरोप लगाकर वीडियो बनाने वाले व्यक्ति के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी।
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