हिसार : बिजलीकर्मियों व पुलिसकर्मियों को पांच घंटे बनाया बंधक, ग्रामीण बोले- बिना परमिशन बिजली चोरी पकड़ने आए थे

नारनौंद ( हिसार )
गांव सीसर में बिजलीकर्मी गांव में लाइन लॉस के चलते चोरी पकड़ने के लिए गांव में पहुंचे। जहां ग्रामीणों ने बिजली कर्मी व पुलिसकर्मियों को बंधक बनाकर गांव की चौपाल में बैठा लिया। बिजली निगम के जेई रविंद्र सिंह अपनी टीम के साथ जिनमें एएलएम दिलबाग सिंह, लाइनमैन दलबीर, मनोज, सुखबीर, ड्राइवर सियाराम व दो पुलिसकर्मियों सहित गांव में बिजली की चोरी पकड़ने के लिए सुबह ही गांव में पहुंच गए जैसे ही बिजली की चोरी पकड़ने के लिए घरों में घुसे तो तुरंत गांव वाले इकट्ठे हो गए और सभी बिजली कर्मियों व पुलिसकर्मियों को गांव की नई चौपाल में ले जाकर चारपाइयों पर बैठा दिया।
ग्रामीणों ने कहा कि बिना परमिशन के गांव में बिजली की चोरी पकड़ने के लिए गांव में घुसे हो और जिस घर में अकेली महिला होती है। उसी घर में चोरी पकड़ने के लिए घुस जाते हो। जिससे महिलाओं को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ता है। बिजली कर्मियों ने इसकी शिकायत अधिकारियों से की तो मौके पर बास थाना प्रभारी परमजीत सिंह मौके पर पहुंचे और ग्रामीणों से बातचीत कर उनको छोड़ने के लिए कहा। लेकिन ग्रामीण अपनी जिद पर अड़े रहे। थाना प्रभारी ने हांसी के एसडीएम व बिजली निगम के एसडीओ नरेश बूरा से मोबाइल फोन पर ग्रामीणों से बातचीत करवाई जिसके बाद ग्रामीणों ने सभी कर्मचारियों को छोड़ा।
बिना अनुमति गांव आए थे : विकास
सीसर निवासी एवं किसान नेता विकास सीसर ने बताया कि बिजली कर्मी बिना परमिशन के गांव में आए थे। और जिस घर में अकेली महिला होती हैं।उसी घर में घुसकर उनको परेशान करने का काम कर रहे थे। जिसके कारण उनको बंधक बना लिया गया। हमारा पूरा गांव हमारा पूरा गांव बिजली के बिल अदा करता है उसके बावजूद बार-बार बिजलीकर्मी गांव में आकर ग्रामीणों को तंग करते हैं।
चोरी के केस में अनुमति लेना जरूरी नहीं
बिजली निगम के एसडीओ नरेश बूरा ने बताया कि चोरी पकड़ने के केस में उच्च अधिकारियों की परमिशन की जरूरत नहीं होती है। हमारे जेई के पास चोरी पकड़ने की अथॉरिटी होती है। शनिवार को गांव में सुबह 6 से 11 बजे तक चोरी पकड़ने का अभियान चलाया जाना था। लेकिन ग्रामीणों ने बिजली कर्मियों को चौपाल में बैठा दिया गया। उच्च अधिकारियों से बातचीत करके आगे की कार्रवाई की जाएगी।
बंधक बनाने की बात गलत, बातचीत के लिए चौपाल बैठाया था : सिंह
बास थाना प्रभारी परमजीत सिंह ने बताया कि किसी भी बिजली कर्मी को बंधक नहीं बनाया गया था। बातचीत के लिए ग्रामीणों ने उनको चौपाल में बैठाया था। अधिकारियों से बातचीत करने के बाद सभी कर्मचारी वापस अपनी ड्यूटी पर लौट गए। गांव की कमेटी की जो शिकायत थी उनकी उच्च अधिकारियों से मोबाइल फोन पर बातचीत करवा दी गई।
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