हत्या आरोपी सिपाही को बचाने के लिए बदल दी थी पूरी रिपोर्ट, डीएसपी सहित कई पुलिस कर्मचारी तलब

हरिभूमि न्यूज : हिसार
सिरसा रोड स्थित हाउसिंग बोर्ड कॉलोनी में पुलिस विभाग के सिपाही द्वारा पत्नी की हत्या करने के मामले में पुलिस विभाग के कई आला अफसर सहित अन्य पुलिस कर्मचारी संदेह के घेरे में आ गए हैं। अदालत ने सबूतों से छेड़छाड़ करने के इस मामले में 9 फरवरी को डीएसपी अशोक कुमार, डीएसपी जींद कप्तान सिंह, शहर थाना प्रभारी विनोद कुमार, एएसआई सतपाल, सुमन कुमारी, सुमेर सिंह, राजू, सीन ऑफ क्राइम के डॉ. अजय व हवलदार बनवारी लाल को तलब किया है। इसके अलावा अदालत ने हिसार मंडल के पुलिस महानिरीक्षक तथा एसपी हिसार से उक्त सभी के खिलाफ की गई कार्रवाई की रिपोर्ट भी मांगी है। पीड़ित पक्ष के वकील हरदीप व मनमोहनराय ने केस में छेड़छाड़ करने वाले पुलिसकर्मियों के खिलाफ सीआरपीसी 193, 156, 173 के तहत कार्रवाई की मांग की है।
16 अप्रैल 2020 को की थी हत्या
पीड़ित पक्ष के वकील हरदीप ने बताया कि 16 अप्रैल 2020 में हाउसिंग बोर्ड कॉलोनी में रहने वाले हरियाणा पुलिस में कार्यरत सिपाही एवं मूल रूप से भिवानी जिले के गांव देवास निवासी विक्रम ने घरेलू कलह के चलते अपनी पत्नी रिंकू की हत्या कर दी थी। घटना के समय उसकी पोस्टिंग जींद डीएसपी कप्तान सिंह के गनमैन के तौर पर थी। मृतका रिंकू की पोस्टमार्टम रिपोर्ट व सीएफएसल रिपोर्ट से उजागर हुआ है कि रिंकू की हत्या सिर में 2 गोलियां लगने से हुई है, जबकि पुलिस ने अपनी रिपोर्ट में इसे सोटे से की गई हत्या बताया था। इस मामले में जांच टीम ने आरोपित विक्रम को लंबी सजा से बचाने के लिए हत्या की पूरी थ्योरी ही बदल कर रख दी। मृतका के भाई प्रदीप का आरोप है कि डीएसपी ने तय शुदा साजिश के तहत वारदात में प्रयोग किए सर्विस पिस्टल को फर्जी तरीके से पिछली तारीख में जमा करवा दिया।
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