कोरोना का कहर: आईटीबीपी के 23 जवानों समेत 35 लोग संक्रमित

हिमाचल प्रदेश में बृहस्पतिवार को कोरोना संक्रमण के 35 मामले सामने आए हैं। जिनमें आईटीबीपी के 23 जवान भी कोरोना पॉजिटिव पाए गए हैं। इसके बाद हिमाचल प्रदेश में संक्रमण का आंकड़ा बढ़कर 1014 के करीब पहुंच गया है। इनमें काेराेना के 362 मामले एक्टिव हैं और 629 मरीज ठीक हुए हैं। किन्नाैर जनपद में सबसे अधिक 17 काेराेना के मामले आए हैं। शिमला में 6, हमीरपुर में 3, कांगड़ा में 2, बिलासुपर, मंडी, लाहाैल-स्पीति, ऊना में 3 और सिरमाैर में एक-एक काेराेना संक्रमण का मामला पाया गया है।
किन्नौर में आईटीबीपी जंगी बटालियन में कोरोना संक्रमण के 17 मामले आने से यहां हड़कंप मच गया है। ये सभी जवान जम्मू से किन्नौर आए हैं। ये सभी जवान क्वारेंटाइन हैं, ये जवान आईटीबीपी के ही वाहन में सवार होकर जंगी पहुंचे थे। इस घटना के बाद आईटीबीपी बटालियन जंगी को सील कर दिया गया है।
एसडीएम कल्पा डॉक्टर मेजर अवनींद्र कुमार ने बृहस्पतिवार को बताया कि यह मामला आईटीबीपी के उन 17 जवानों का है जिन्हें जंगी में क्वारेंटाइन किया गया है। एसडीएम कल्पा डॉक्टर मेजर अवनींद्र कुमार ने कहा कि लोगों को एहतियात बरतने की आवश्यकता है। अधिक पैनिक होने की जरुरत नहीं है। वहीं एक मामला जनपद बिलासपुर में बृहस्पतिवार को सामने आया है। चांदपुर क्षेत्र का एक व्यक्ति कोरोना संक्रमित पाया गया है।
बताया गया है कि वह व्यक्ति 24 जून को गुरुग्राम से आया था और उसे बिलासपुर के एक होटल में इंस्टिट्यूशनल क्वारेंटाइन किया गया था। इसेे शिवा आयुर्वेदिक काॅलेज में बनाए गए कोविड-19 केयर सेंटर में शिफ्ट किया गया है। हमीरपुर में दो मामले कोरोना संक्रमण के आए है। इसमें एक मामला बडसर क्षेत्र के बणी और दूसरा टोनी देवी के कोट में पाया गया है।
वहीं जोगिंद्रनगर उपमंडल में बृहस्पतिवार को एक मामला सामने आया है। ग्राम पंचायत ब्यूहं में एक युवक भी संक्रमित पाया गया है। यह युवक दो जून को दुबई से आया था। स्वास्थ्य विभाग ने बृहस्पतिवार को 2049 लाेगाें के सेंपल जांच के लिए एकत्रित किए। इसमें से 914 की रिपाेर्ट नेगेटिव आई है और 1132 लाेगाें की रिपाेर्ट अभी नहीं आ पाई है। हिमाचल प्रदेश में लगभग 83 हजार 554 लाेगाें की काेरोना संक्रमण की जांच हाे चुकी है। इनमें से 81 हजार 411 की जांच रिपाेर्ट नेगेटिव आई है।
छह जवान शिमला में संक्रमित मिले, छुटि्टयां बिताकर लौटे थे
शिमला जनपद के ज्यूरी में 43वीं आईटीबीपी बटालियन के छह जवान कोरोना के संक्रमण से ग्रस्त पाए गए हैं। ये सभी जवान अपनी छुट्टियां काट कर बटालियन आए थे। एसजेवीएनएल के कवारेंटाइन सेंटर में इन सभी संक्रमित जवानों को रखा गया था। यह देश के अलग-अलग राज्यों से आए थे।
आईटीबीपी कैंपस सील
हिमाचल के किन्नौर में जवानों की रिपोर्ट कोरोना पॉजिटिव आने के बाद जिला प्रशासन ने आईटीबीपी कैंपस को सील कर दिया है और साथ ही पूरे क्षेत्र को कंटेनमेंट जोन घोषित कर दिया है। आईटीबीपी के प्रवेश द्वारों पर पुलिस और आईटीबीपी के जवान तैनात किए गए हैं। आईटीबीपी के जवानों के बाजार जाने पर भी प्रतिबंध लगा दिया गया है। बाहर से जितने भी जवान यहां पहुंच रहे हैं, उन्हें कैंपस में ही क्वारेंटाइन किया जा रहा है। इन सभी जवानों का स्वास्थ्य फिलहाल ठीक है।
प्रशासन ने जारी की एडवाइजरी
एसडीएम रामपुर नरेंद्र चौहान ने शिमला से लेकर रामपुर की सीमा पर स्थित दुकानदारों और ढाबा संचालकों को हिदायत दी है कि वे सरकार के निर्देशों का सख्ती से पालन करें। अन्य प्रदेशों आने वाले लोगों मिलते समय कोरोना संक्रमण से बचने की सभी ऐहतियातों का सख्ती से पालन करें। उन्होंने सुरक्षा के लिहाज से दुकानदारों और ढाबा संचालकों को व्यापक प्रबंध करने की अपील की है।
हिमाचल के सबसे बड़े अस्पताल आईजीएमसी को मिले 30 नए वेंटिलेटर
शिमला. हिमाचल प्रदेश के सबसे बड़े अस्पताल आईजीएमसी को राज्य सरकार ने 30 नए वेंटिलेटर दिए हैं। इन वेंटिलेटर्स के मिलने के बाद उनका लाभ उन मरीजों को मिलेगा, जिन्हें वेंटिलेटर खाली न होने पर एम्बु बैग पर रहना पड़ता था। तथा साथ ही इससे राज्य में कोरोना संक्रमण से मृत्यु दर में भी कमी आएगी। केंद्र सरकार ने हिमाचल को कोरोना से निपटने के लिए 500 नए वेंटिलेंटर उपलब्ध करवाए हैं।
आईजीएमसी में अभी तक लगभग दो दर्जन वेंटिलेटर हैं, जिसमें केवल गंभीर रुप से संक्रमित मरीजों का ही इलाज होता है। ऐसे में अस्पताल को 30 और वेंटिलेटर्स मिलने पर यहां मरीजों को लाभ होगा। इस अस्पताल में प्रतिदिन हजारों लोग इलाज के लिए आते हैं। ऐसे में मरीजों को सुलभ उपचार प्रदान करने के लिए हिमाचल सरकार ने आईजीएमसी को नए वेंटिलेटर दिए हैं।
केंद्र सरकार ने हिमाचल प्रदेश को 500 वेंटिलेटर दिए
केंद्र सरकार ने हिमाचल प्रदेश को कोरोना के संक्रमण से निपटने के लिए 500 नए वेंटिलेंटर उपलब्ध करवाए हैं। जिसके बाद हिमाचल प्रदेश को अब 618 वेंटिलेंटर उपलब्ध हो गए हैं। वहीं, ट्रांसपोर्ट वेंटिलेटर का उपयोग तब काम आता है जब मरीज को कहीं शिफ्ट या कोई टेस्ट जैसे एमआरआई, सिटी स्कैन करना हो, फिलहाल में इन सबके लिए एम्बु बैग का सहारा लेना पड़ता है।
मृत्य दर में आएगी कमी
आईजीएमसी के एमएस डॉ. जनक राज ने इस संदर्भ में कहा कि अतिरिक्त मुख्य सचिव व स्वास्थ्य सचिव आरडी धीमान ने सरकार के निर्देशों के बाद 500 नए वेंटिलेटर दिए हैं, जिसमें से 30 वेंटिलेटर्स आईजीएमसी को दिए गए हैं। एमएस डॉ. जनक राज ने बताया कि दिए गए वेंटिलेटर्स में दो प्रकार के वेंटिलेटर्स है। पहला मेन वेंटिलेटर है, जबकि दूसरा ट्रांसपोर्ट वेंटिलेटर है। फरवरी 2020 में केवल चार वेंटिलेटर ट्राइज वार्ड में लगाए गए थे, लेकिन अब 16 ट्रासंपोर्ट वेंटिलेटर मिलने से मरीजों का इलाज करने में आसानी होगी और मृत्यु दर में भी कमी आएगी।
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