Himachal में भारी बारिश से जनजीवन तबाह, अब तक 63 लाेगों की मौत, ज्यादातर जिलों में रेड अलर्ट जारी

Heavy rain in Himachal Pradesh: इस समय पूरा भारत तेज बारिश के कारण त्राहिमाम कर रहा है, लेकिन हिमाचल प्रदेश में बारिश इस बार आफत बनकर आई है। मौसम विशेषज्ञों का मानना है कि प्रदेश में बारिश ने 60 सालों का रिकॉर्ड तोड़ दिया है। सोमवार को भारी बारिश ने 8 लोगों की जान ले ली। प्रदेश में 24 जून को पहुंचे मानसून के बाद अब तक 63 लोगों की मौत हो चुकी है।
पूरे हिमाचल प्रदेश (Himachal Pradesh) में इस समय अतिवृष्टि हो रही है। इस कड़ी में भारतीय मौसम विभाग (IMD) ने मंगलवार के लिए शिमला, मंडी, बिलासपुर, कुल्लू, केलांग, सोलन, नाहन और किन्नौर जिले में रेड अलर्ट जारी किया है। मौसम विभाग के अनुसार, इन जगहों पर आज भारी बारिश हो सकती है। दूसरी ओर, राज्य के चंबा, धर्मशाला, हमीरपुर और ऊना जिले के लिए ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है। यानी यहां भी तेज बारिश की संभावना है। भारी बारिश के चलते कुल्लू जिला प्रशासन ने श्रीखंड महादेव की यात्रा भी रद्द कर दी है। बीच राह में फंसे यात्रियों को मौसम साफ होते ही वापस लाया लाएगा। सोमवार को कुल्लू (Kullu) जिले के लगघाटी में बादल फटने से 100 बीघा जमीन बह गई है।
मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू (CM Sukhwinder Singh Sukhu) मंगलवार को कुल्लू और लाहौल स्पीति (Lahaul Spiti) में हुए नुकसान का हवाई सर्वेक्षण करेंगे। इसके अलावा लाहौल स्पीति जिले के चंद्रताल में फंसे 300 लोगों को निकालने के लिए मंगलवार सुबह रेस्क्यू शुरू कर दिया गया है। इसके लिए भारतीय वायुसेना (Indian Airforce) की मदद ली जा रही है। मंडी जिले में लगातार बारिश की वजह से बढ़ते जल स्तर के परिणामस्वरूप ब्यास नदी के किनारे के घरों को खाली करा लिया गया है। जिले की एसपी सौम्या साम्बशिवन ने बताया कि ब्यास नदी के पार रहने वाले लोगों को बचाकर उन्हें राहत केंद्र भेजा गया है।
मंगलवार सुबह मंडी (Mandi) पहुंचे उपमुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री (Deputy CM Mukesh Agnihotri) ने कहा कि हालात को सुव्यवस्थित करने में 24 घंटे लग सकते हैं। मंडी में कुछ जगह पीने की पानी की व्यवस्था की जा रही है। साथ ही शहर में जलजमाव की स्थिति को ठीक किया जा रहा है। पूरे प्रदेश में 1300 से 1400 बस निलंबित की गई हैं। कुल्लू जिले में सबसे ज्यादा गंभीर स्थिति बनी हुई है, वहां सभी रास्ते बंद हैं। राज्य सरकार की बसें सुरक्षित जगहों पर खड़ी हैं, जिस कारण बसों को किसी प्रकार का नुकसान नहीं हुआ है। राज्य जहां भी लोग फंसे हुए थे, उन्हें निकाल लिया गया है।
भारी बारिश (Heavy rain) के कारण प्रदेश की ज्यादातर सड़कें बंद पड़ी हुई है। कालका-शिमला हाईवे (Kalka-Shimla Highway) बंद होने से हिमाचल प्रदेश के प्रवेश द्वार कहे जाने वाले परवाणू में देर रात से यात्री खड़े हैं। बताया जा रहा है कि हजारों लोग कालका-शिमला नेशनल हाईवे खुलने का इंतजार कर रहे हैं। शिमला सहित आसपास के शहरों में जाने वाली दूध-ब्रेड की सभी गाडियां भी परवाणू से वापस चली गई हैं। इस कारण लोगों की परेशानियां बढ़ गई हैं।
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