हिमाचल को रोजाना चाहिए 29.63 मीट्रिक टन ऑक्सीजन, Oxygen की उपलब्धता में कांगड़ा जिला सबसे अग्रणी

हिमाचल प्रदेश (Himachal Pradesh) में कोविड की दूसरी लहर में राज्य को 29.63 मिट्रिन टन ऑक्सीजन (Oxygen) की जरूरत है। सबसे ज्यादा जरूरत कांगड़ा जिले में है। इसके बाद मंडी फिर सोलन और शिमला (Solan and Shimla) शामिल हैं। वर्तमान में हिमाचल में 73.81 मीट्रिक टन ऑक्सीजन का उत्पादन किया जा रहा है, जो कि पिछले साल की तुलना में 44.81 मिट्रिन टन ज्यादा है। हिमाचल के तमाम स्टील प्लांट उद्योग इस समय ऑक्सीजन (Oxygen) तैयार कर अस्पतालों को दे रहे हैं। प्रदेश के सभी स्वास्थ्य संस्थानों में आवश्यकतानुसार कोविड मरीजों को ऑक्सीजन उपलब्ध करवाई जा रही है।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, राज्य में चिकित्सा ऑक्सीजन की प्रतिदिन उपलब्धता 73.86 मीट्रिक टन है, जबकि प्रतिदिन खपत 29.63 मीट्रिक टन है। चिकित्सा ऑक्सीजन के उत्पादन और खपत के आधार पर प्रदेश में चिकित्सा ऑक्सीजन सरप्लस है, जिसकी मात्रा 44.23 मीट्रिक टन प्रतिदिन है। गौरतलब है कि गत वर्ष राज्य में चिकित्सा ऑक्सीजन का उत्पादन प्रतिदिन लगभग 29 मीट्रिक टन तक था, जो वर्तमान में बढ़कर 73.81 मीट्रिक टन प्रतिदिन हो गया है। राज्य के विभिन्न जिलों में चिकित्सा ऑक्सीजन की उपलब्धता में कांगड़ा जिला सबसे अग्रणी है और यहां 29.08 मीट्रिक टन चिकित्सा ऑक्सीजन प्रतिदिन उपलब्ध है।
वहीं इसके अलावा जिला बिलासपुर में 0.34 मीट्रिक टन, चंबा में 1.02 मीट्रिक टन, हमीरपुर में 3.29 मीट्रिक टन, किन्नौर में 0.59 मीट्रिक टन, कुल्लू में 2.95 मीट्रिक टन, लाहौल-स्पिति में 0.83 मीट्रिक टन, मंडी में 10.65 मीट्रिक टन, शिमला में 5.17 मीट्रिक टन, सिरमौर में 5.91 मीट्रिक प्रतिदिन, सोलन में 11.58 मीट्रिक टन जबकि ऊना में 2.47 मीट्रिक टन प्रतिदिन ऑक्सीजन उपलबध है। प्रदेश के छह मेडिकल कालेजों में ऑक्सीजन प्लांट कार्यशील हैं, जिनमें निरंतर उत्पादन हो रहा हैं। इनमें आईजीएमसी, टांडा, नेरचौक, धर्मशाला, डीडीयू शिमला व निजी क्षेत्र में चल रहा मेडिकल कालेज एमएमयू कुमारहट्टी शामिल है। इसके अतिरिक्त मेडिकल कालेज हमीरपुर, चंबा और नाहन में ऑक्सीजन प्लांट स्थापित करने का कार्य प्रगति पर है, जिनमें ऑक्सीजन उत्पादन अगामी एक या दो सप्ताह में शुरू हो जाएगा।
आपको बता दें कि केंद्र द्वारा हिमाचल के लिए स्वीकृत किए गए छह नए ऑक्सीजन प्लांट स्थापित करने की प्रक्रिया भी शुरू हो गई हैं। इन्हें डीआरडीओ द्वारा स्थापित किया जाएगा। यह प्लांट नागरिक अस्पताल पालमपुर, जोनल अस्पताल मंडी, जिला शिमला के खनेरी व रोहडू नागरिक अस्पतालों, मेडिकल कॉलेज नाहन और क्षेत्रीय अस्पताल सोलन में स्थापित होंगे, जो कि अगामी एक माह में बनकर तैयार हो जाएंगे।
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