हिमाचल: कोरोना काल में लटका जलोड़ी टनल का निर्माण कार्य

हिमाचल में कोरोना के चलते 4.2 किमी लंबी जलोड़ी दर्रा टनल का निर्माण लटक गया है। दिसंबर 2019 में नॉर्वे की कंपनी से करवाया हवाई सर्वे फेल हो गया था। इधर, एनएच अथॉरिटी ने टनल और हाईवे की डीपीआर के टेंडर जारी कर दिए हैं। बताया जा रहा है कि जब तक टनल के हवाई सर्वे की रिपोर्ट नहीं आएगी, तब तक डीपीआर की रिपोर्ट फाइनल नहीं होगी। सड़क एवं परिवहन मंत्रालय ने अप्रैल में फिर से हवाई सर्वे करना था, मगर कोरोना के चलते यह काम नहीं हो पाया। समुद्रतल से 10280 फीट ऊंचे जलोड़ी दर्रे को भेदकर बनने वाली टनल की कवायद को कोरोना ने झटका दिया है। बताया जा रहा है कि एमआई-17 हेलीकॉप्टर में लगे एंटीना से दर्रे के अंदर कितनी चट्टानें और पानी है, इसका पता लगाया गया, मगर एंटीना में यह कैच नहीं हो पाया है।
उल्लेखनीय है कि टनल के निर्माण को मुंबई की ध्रुव कंपनी ने फरवरी 2014 सर्वे किया था। छह साल बाद डीपीआर बनाने को टेंडर जारी हुआ है। दूसरे चरण में केंद्रीय सड़क एवं परिवहन मंत्रालय के अंतर्गत राष्ट्रीय राजमार्ग अवसरंचना विकास निगम लिमिटेड की ओर से हवाई सर्वे कर दर्रे के भीतर का पूरा एक्सरे कर चट्टानों और पानी की मात्रा का पता लगाना है। केंद्रीय सड़क एवं परिवहन मंत्रालय के अंतर्गत राष्ट्रीय राजमार्ग अवसरंचना विकास निगम लिमिटेड द्वारा दिसंबर 2019 को जलोड़ी टनल का किया जियोलॉजिकल सर्वे सफल नहीं हो पाया है। एमआई-17 हेलीकाप्टर में लगे आधुनिक एंटीना से सर्वे दूसरी बार अप्रैल में होना था, लेकिन कोरोना काल में यह काम अब आगे खिसक गया है।
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