बारिश ना होने से मुरझाने लगी गेहूं की फसल, बागवानों को भी नुकसान

बारिश ना होने से मुरझाने लगी गेहूं की फसल, बागवानों को भी नुकसान
X
हिमाचल प्रदेश (Himachal pradesh) में पिछले दिनों मौसम विभाग ने बारिश (Rain) का अलर्ट जारी किया था। लेकिन बारिश ना होने से किसानों की गेहूं की फसल (Wheat crop) सुखने लगी है। इतना ही नहीं बागवानों को भी बारिश ना होने से काफी नुक्सान (Loss) हो रहा है।

हिमाचल प्रदेश (Himachal pradesh) में पिछले दिनों मौसम विभाग ने बारिश (Rain) का अलर्ट जारी किया था। लेकिन बारिश ना होने से किसानों की गेहूं की फसल (Wheat crop) सुखने लगी है। इतना ही नहीं बागवानों को भी बारिश ना होने से काफी नुक्सान (Loss) हो रहा है। बारिश ना होने से जहां किसानों की गेहूं की फसल पीली पड़ने लगी है। वहीं सेब के बगीचों (Gardeners) में नमी ना होने के कारण फुल अपने आप नीचे गिरने लगा है।

मीडिया रिपोर्ट्स के मुबातिक, जिलों में पर्याप्त बारिश न होने के कारण 50 से 70 फीसदी तक गेहूं की फसल मुरझाकर पीली हो गई है। जौ, मटर और लहसुन आदि फसलों पर भी सूखे का संकट गहरा रहा है। मंडी, कांगड़ा, बिलासपुर, सिरमौर, चंबा में 70 फीसदी तक फसल प्रभावित हुई है। हमीरपुर में तो इससे भी बुरा हाल है। ऊना और कुल्लू में प्रभाव थोड़ा कम है। किसानों के अनुसार बूंदाबांदी होने पर अच्छी फसल की उम्मीद से खेतों में यूरिया खाद डाली गई थी लेकिन बारिश न होने से फसल अब पीली पड़ने लगी है।

आपको बता दें कि प्रदेश में अधिकांश खेती वर्षा के जल पर ही निर्भर है। ऐसे में बारिश के बिना गेहूं की फसल के पूरी तरह से चौपट होने पर किसानों को बड़ा नुकसान होने की संभावना है। अगर अब भी प्रदेश बारिश हो जाए तो किसान इस नुकसान से बच सकते हैं। कृषि विशेषज्ञों की मानें तो राज्य में अगर 15 मार्च तक बारिश हो जाती है तो किसानों की 50 प्रतिशत फसल को बचाया जा सकता है।

Tags

Next Story