J&K: जम्मू में शिफ्ट हुई शीतकालीन राजधानी, उपराज्यपाल मनोज सिन्हा को मिला गार्ड ऑफ ऑनर, जानें वजह

J&K: जम्मू में शिफ्ट हुई शीतकालीन राजधानी, उपराज्यपाल मनोज सिन्हा को मिला गार्ड ऑफ ऑनर, जानें वजह
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J&K: जम्मू कश्मीर की राजधानी श्रीनगर को जम्मू में शिफ्ट कर दिया गया है। जहां आज से प्रशासनिक अधिकारी शीतकालीन राजधानी जम्मू से कामकाज शुरू करेंगे, जो अगले छह महीने तक तक यहां से काम चलता रहेगा।

J&K: जम्मू कश्मीर की शीतकालीन राजधानी श्रीनगर को जम्मू में शिफ्ट कर दिया गया है। जहां आज से प्रशासनिक अधिकारी शीतकालीन राजधानी जम्मू से कामकाज शुरू करेंगे। जम्मू कश्मीर की प्रशासनिक व्यवस्था का जिम्मा अगले छह महीने तक अधिकारी जम्मू से ही संभालेंगे।

दरअसल, सर्दियां शुरू होते ही जम्मू कश्मीर की राजधानी श्रीनगर को जम्मू में शिफ्ट कर दिया जाता है। इसके बाद जम्मू कश्मीर की प्रशासनिक कार्य अगले छह तक जम्मू से ही संभाला जाता है। जम्मू-कश्मीर सिविल सचिवालय में एक कार्यक्रम का आयोजन किया गया।

उपराज्यपाल को दिया गया गार्ड ऑफ ऑनर

इस आयोजन के उपलक्ष्य में दरबार स्थानांतरण को पूरी तरह से सजाया गया था। जहां उपराज्यपाल मनोज सिन्हा सिविल सचिवालय में तिरंगा फहराकर। वहीं, इस आयोजन में उपराज्यपाल (एलजी) मनोज सिन्हा को गार्ड ऑफ ऑनर से सम्मानित किया गया।

प्रशासनिक अधिकारियों के साथ ही उपराज्यपाल मनोज सिन्हा भी जम्मू से ही प्रशासनिक कामकाज संभालेंगे। बता दें कि पर्वतीय राज्य जम्मू कश्मीर में सर्दियों को देखते हुए प्रशासनिक व्यवस्था के काम में कोई बाधा न आए, इसके लिए जम्मू-कश्मीर के सिविल सचिवालय को जम्मू में स्थानांतरित कर दिया जाता है।

जबकि गर्मियों के मौसम में 6 महीने सभी काम श्रीनगर से होते हैं।

148 साल पहले शुरू हुआ था स्थानांतरण की प्रक्रिया

शीतकालीन राजधानी के स्थानांतरण की इसी प्रक्रिया को दरबार स्थानांतरण कहा जाता है। ऐसा बताया जाता है कि शीतकालीन राजधानी स्थानांतरण की इस प्रक्रिया की शुरुआत 148 साल पहले साल 1872 में हुई थी। इसकी शुरुआत महाराजा गुलाब सिंह ने शुरू की थी।

महाराजा गुलाब सिंह ने राज्य के दो हिस्सों में मौसम से जुड़ी परेशानियों से निपटने के लिए दरबार स्थानांतरण की शुरुआत की थी। तब से लेकर अब तक प्रशासनिक व्यवस्था का संचालन सर्दियों के मौसम में श्रीनगर को जम्मू से और गर्मियों में श्रीनगर से होता है।

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