21 एकड़ फसल जली, ग्रामीणों की मेहनत से बची डेढ़ हजार एकड़ रकबे की फसल

21 एकड़ फसल जली, ग्रामीणों की मेहनत से बची डेढ़ हजार एकड़ रकबे की फसल
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अमझरा गांव में बिजली के शार्ट सर्किट से खेत में लगी आग इतनी बढ़ी की चार किसानों की 21 एकड़ रकबे में खड़ी गेहूं की फसल खाक हो गई। आग को बढ़ता हुआ देख सौ से अधिक ग्रामीणों ने ट्रेक्टरों की मदद से 15 फीट की फसल को उखाड़ दिया, जिससे आग आगे नहीं बढ़ पाई।

15 फीट पट्टी की फसल को उखाड़ा, ट्रेक्टर से मिट्टी डालकर बुझाई आग

चार किसानों की 21 एकड़ फसल खाक, लाखों रुपए का नुकसान

हुजूर एसडीएम पहुंचे गांव, किसानों से की बात

भोपाल। अमझरा गांव में बिजली के शार्ट सर्किट से खेत में लगी आग इतनी बढ़ी की चार किसानों की 21 एकड़ रकबे में खड़ी गेहूं की फसल खाक हो गई। आग को बढ़ता हुआ देख सौ से अधिक ग्रामीणों ने ट्रेक्टरों की मदद से 15 फीट की फसल को उखाड़ दिया, जिससे आग आगे नहीं बढ़ पाई। इन खेतों से लगी करीब डेढ़ हजार रकबे की फसल को बचाया जा सका। नुकसान का आंकलन कर किसानों को मुआवजा दिया जाएगा।

हुजूर एसडीएम आकाश श्रीवास्तव ने बताया कि कुछ ग्रामीण ने 15 फीट की पट्टी की फसल को उखाड़ा तो कुछ ने मिट्टी डालने का काम शुरू कर दिया। इसके अलावा आधा दर्जन ट्रैक्टर भी खेत में उतरे और पिलाऊ से फसल को मिट्टी में पलटने का काम शुरू कर दिया। ऐसा कर आग को एक दायरे तक सीमित कर दिया। ग्रामीणों और फायर की दमकलों की मदद से आग आगे नहीं बढ़ सकी।

एक घंटे में आई दमकल

पीड़ित किसान कुणाल गुर्जर ने बताया कि दोपहर एक बजे तेज हवा के कारण बिजली के तार आपस में टकरा गए। जोरदार ब्लास्ट के साथ निकली चिंगारी ने खेत में लगी गेहूं की खड़ी फसल को अपनी गिरफ्त में लिया। देखते ही देखते सूखी फसल धूं-धूं कर जलने लगी। आग बुझाने के लिए आसपास के ग्रामीण क्षेत्रों के बच्चे, महिलाओं समेत सौ से ज्यादा ग्रामीण मौके पर पहुंचे और एक घंटे की मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया।

ऐसे बचाई डेढ़ हजार एकड़ में खड़ी फसल Ñ

किसान कुणाल ने बताया कि हवा के साथ आग भी तेजी से फैल रही थी। पचास से ज्यादा ग्रामीणों ने एक हजार लीटर की कीटनाशक छिड़काव पंप में पानी भरा। फिर लगी आग को चारों से बुझाने का काम शुरू किया गया। आग में जलकर खाक हुई फसल पर ट्रैक्टर रोलर भी चलाया गया। जिससे आग को पूरी तरह से बुझा दिया जाए। ग्रामीणों का कहना ह कि बिलखिरिया थाना क्षेत्र में करीब तीन दर्जन से अधिक गांव आते हैं। अकसर यहां आगजनी की घटनाएं होती हैं। ऐसे में यहां भी फायर स्टेशन खोला जाना चाहिए।

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