भोपाल प्रशासन ने कहा- बिजली कड़कने से एडाप्टर हुआ शार्ट, भाजपा-कांग्रेस नेताओं के समक्ष कराया दुरुस्त, जानिए क्या है मामला

भोपाल। भोपाल में नगर निगम के चुनाव सम्पन्न हो चुके हैं। उम्मीदवारों की किस्मत ईवीएम में कैद है। ईवीएम को भोपाल की पुरानी जेल में सुरक्षित रखा गया है। गड़बड़ न हो इसे लेकर विपक्ष घबराया हुआ है और जेल के स्ट्रांग रूम में लगे सीसीटीवी कैमरों की लगातार निगरानी कर रहा है। अचाचनक सोमवार को जेल स्थित स्ट्रांग रूम के सीसीटीवी कैमरे बंद हो गए। इसकी जानकारी लगने के बाद कांग्रेस नेताओं में हड़कंप की स्थिति बन गई। जेल के बाहर मौजूद कार्यकर्ताओं ने पूर्व मंत्री राजकुमार पटेल को इसकी सूचना दी। पटेल जिला जेल के स्ट्रांग रूम पहुंचे और सीसीटीवी कैमरे बंद होने की शिकायत कलेक्टर और जिला निर्वाचन अधिकारी से की। करीब 20 मिनट चली मशक्कत के बाद फाल्ट सुधार लिया गया।
दोबारा बंद हुए कैमरे तो जताई गड़बड़ी की आशंका
अफसरों के जाने के बाद दोबारा कैमरे बंद हो गये। इस पर कांग्रेस ने प्रशासन की व्यवस्था पर ही सवाल उठा दिये। कांग्रेस का आरोप है कि प्रशासन को कैमरों के बंद होने पर तत्काल एक्शन लेना चाहिए, लेकिन ऐसा नहीं किया गया है। इससे गड़बड़ी की आशंका बनी हुई है। कांग्रेस ने मतगणना तक सभी कार्यकर्ताओं को स्ट्रांग रूम के बाहर अलर्ट रहने के लिए कहा है।
15 मिनट में ठीक हुए कैमरे
शिकायत के बाद पहुंचे कलेक्टर अविनाश लवानिया भी पुरानी जेल के स्ट्रांग रूम का निरीक्षण किया। कांग्रेस व भाजपा नेताओं की मौजूदगी में कैमरे को ठीक कराया गया। इसमें करीब 15 मिनट का समय लगा। अधिकारियों ने कैमरे बंद होने की वजह बिजली कड़कने के कारण एडाप्टर में हुए फाल्ट को बताया। कांग्रेस ने आरोप लगाते हुए कहा कि कैमरे बंद होने पर ईवीएम के साथ कुछ भी हो सकता है।
तीन घंटे चली आंख-मिचोली
पूर्व मंत्री राजकुमार पटेल ने बताया कि उन्हें सुबह 8 बजे फोन आया कि स्ट्रांग रूम के कैमरे 20 मिनट से बंद हैं। इस सूचना के बाद उन्होंने तत्काल जिला निर्वाचन अधिकारी व कलेक्टर अविनाश लवानिया को सूचित किया। मौके पर बिजली कड़कने से एडाप्टर में फाल्ट होने की बात कही गई। कुछ देर बाद फाल्ट सुधार लिया गया। लेकिन कुछ देर बाद फिर से वहीं समस्या आ गई। यह सिलसिला तीन घंटे तक चलता रहा। उन्होंने कहा कि हम सजग हैं और लगातार इस पर निगरानी रख रहे हैं। कारण हार से बचने के लिए सरकार सभी हथकंडे अपनाएगी। साथ ही हमने प्रशासन से मांग की है कि मशीनों की री-सीलिंग कराया जाए।
निगम के साथ पंचायतों की मतपेटियां भी
नगर निगम चुनाव और त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव का मतदान सम्पन्न होने के बाद नई शहर सरकार के महापौर, पार्षदों और सरपंच, जनपद और पंचायत की मतपेटियों को भोपाल की पुरानी जेल में सुरक्षित रखवा दिया गया है। नगर निगम भोपाल की सभी ईवीएम मशीन और मत पेटियों को थ्री लेयर सुरक्षा में रखा गया है।
इनका कहना है-
बिजली कड़कने के कारण एडाप्टर में फाल्ट आ गया था। इसके चलते कुछ देर के लिए कैमरे बंद हो गये थे। मौके पर दोनों ही दलों के अभिकर्ताओं की मौजूदगी में फाल्ट दुरुस्त कराया गया।
अविनाश लवानिया, कलेक्टर भोपाल
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