बीजेपी के पूर्व पार्षद ने पत्नि और दो बच्चों के साथ की खुदकुशी, जानिए क्या है वजह?

विदिशा में पूर्व भाजपा पार्षद संजीव मिश्रा ने अपने पूरे परिवार समेत जहर खाकर जान दे दी। मिश्रा दंपती अपने दोनों बेटों की लाइलाज बीमारी से परेशान थे। इसी से तंग आकर उन्होंने सामूहिक खुदकुशी कर ली। सूचना मिलते ही मिश्रा दंपती व दोनों बेटों को गंभीर हालत में अस्पताल ले जाया गया, लेकिन उन्हें बचाया नहीं जा सका।
पूर्व पार्षद संजीव मिश्रा घर पर जहर खाकर सामूहिक खुदकुशी के पहल सोशल मीडिया पर पोस्ट साझा कर लिखा- 'ईश्वर दुश्मन के बच्चों को भी ना दें यह बीमारी, मस्कुलर डिस्ट्रॉफी डीएमडी, प्रार्थना।', मिश्रा की यह पोस्ट वायरल होते ही परिचित व रिश्तेदारों को किसी अनहोनी को अंदेशा हुआ और वे ताबड़तोड़ उनके घर पहुंचे। वहां मिश्रा दंपती व दोनों बेटों को गंभीर हालत में तड़पते हुए पाया। परिजन और पड़ोसी घर पहुंचे तो बाहर से दरवाजा बंद था। इसके बाद पड़ोसियों की मदद से मिश्रा के घर का दरवाजा तोड़ा गया। घर में संजीव मिश्रा, उनकी पत्नी नीलम मिश्रा, बेटा अनमोल 13, सार्थक 7 बेहोश हालत में मिले। करीबियों का कहना है कि भाजपा नेता संजीव मिश्रा के दोनों बेटों को ड्यूकेन मस्कुलर डिस्ट्रॉफी (डीएमडी) बीमारी थी।
यह दुर्लभ व घातक बीमारी है। इसमें मांसपेशियों की कमजोरी आने से पीड़ितों का सामान्य जीवन मुश्किल हो जाता है। मस्कुलर डिस्ट्रॉफी डायस्ट्रोफिन नामक प्रोटीन में कमी के कारण होती है। यह प्रोटीन मांसपेशियों की कोशिकाओं को स्वस्थ रखने और इनके विकास में मदद करता है। अध्ययनकर्ताओं ने पाया कि डीएमडी की समस्या के लिए आनुवंशिक कारण अहम है। सामान्य तौर पर इसके लक्षण 2-4 साल की आयु में दिखने शुरू हो जाते हैं। इसका अब तक कोई इलाज नहीं है। एक अनुमान के अनुसार इसका इलाज लंबे समय तक चलता है। इसके सहायक उपचार के लिए हर वर्ष 2-3 करोड़ रुपये तक खर्च आता है।
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