होशंगाबाद का नाम नर्मदापुरम होने से चार सौ वर्ष पहले का गौरव लौटा

होशंगाबाद का नाम नर्मदापुरम होने से चार सौ वर्ष पहले का गौरव लौटा
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केंद्र व प्रदेश सरकार द्वारा होशंगाबाद का नाम नर्मदापुरम और जिले के बाबई कस्बे का नाम माखननगर किए जाने का पूर्व विधानसभा अध्यक्ष डॉ सीताशरण शर्मा सहित होशंगाबाद जिले सहित प्रदेश के जनप्रतिनिधियों ने स्वागत किया है। डॉ सीताशरण शर्मा ने कहा कि नर्मदापुरम नाम होने से चार सौ वर्ष पुराना...

भोपाल। केंद्र ( Central ) व प्रदेश सरकार ( State govt.) द्वारा होशंगाबाद ( Hoshangabad ) का नाम नर्मदापुरम ( Narmadapuram ) और जिले के बाबई ( Babai ) कस्बे का नाम माखननगर ( Makhannagar ) किए जाने का पूर्व विधानसभा अध्यक्ष ( Ex. Speaker m.p. lagislative assembly ) डॉ सीताशरण शर्मा ( Dr. Setasaran Sharma ) सहित होशंगाबाद जिले सहित प्रदेश के जनप्रतिनिधियों ने स्वागत किया है। डॉ सीताशरण शर्मा ने कहा कि नर्मदापुरम नाम होने से चार सौ वर्ष ( 400 Years ) पुराना गौरव लौटा है। होशंगाबाद जिले की जनता की तरफ से यह मांग पिछले कई वर्षों से की जा रही थी, जिसे केंद्र व राज्य सरकार की स्वीकृति के बाद पूरा किया गया। अब 8 फरवरी को नर्मदा जयंती ( Narmada Jayanti ) से गजट नोटिफिकेशन ( gazat notification ) के साथ औपचारिक रूप से इन दोनों नगरों के नाम परिवर्तित हो जाएंगे।

चार सौ वर्ष पहले नाम नर्मदापुरम ही था, फिर गौरव लौटा : डॉ सीताशरण शर्मा -

मप्र के पूर्व विधानसभा अध्यक्ष एवं होशंगाबाद के विधायक डॉ सीताशरण शर्मा ने कहा कि होशंगाबाद शहर का नाम चार सौ वर्ष पूर्व नर्मदापुरम ही था। लेकिन तत्कालीन शासकों ने खुद के नाम पर इसे कर लिया। होशंगाबाद की पहचान मां नर्मदा के नाम पर ही है। वहीं बाबई की पहचान क्रांतिकारी राष्ट्रकवि दादा माखनलाल के नाम से है, जिनकी यादें अक्षुण्ण बनाए रखने के लिए व आने वाली युवा पीढ़ी को प्रेरणा देने के लिए नए नाम प्रेरक का काम करेंगे। केंद्र व राज्य सरकार का आभार।

1951 से कर रहे थे मांग : खंडेलवाल -

होशंगाबाद के पूर्व नगर पालिका अध्यक्ष अखिलेश खंडेलवाल ने बताया कि वे जब अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद में काम कर रहे थे, उस वक्त 1951 से मांग कर रहे थे। उस दौरान पोस्ट कार्ड अभियान चलाकर होशंगाबाद का नाम नर्मदापुरम करने के लिए स्थानीय जनता से समर्थन मांगा था। इसके बाद स्टीकर लगाकर लोगों से शहर का नाम नर्मदापुरम लिखने के लिए आहवान किया था। बाद में 2006 में नपा ने प्रस्ताव पारित करके राज्य सरकार को भेजा था। इसके बाद 2015 में जिला योजना समिति ने प्रस्ताव पारित करके होशंगाबाद शहर का नाम नर्मदापुरम करने राज्य सरकार को भेजा था। इस तरह लगातर जनता की तरफ से मांग उठती रही। पिछले साल मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने घोषणा की थी, जिसे अब राज्य सरकार व केंद्र सरकार की स्वीकृति से पूरा किया जा रहा है। बड़े हर्ष का विषय है, शहर और आसपास की जनता इस निर्णय का स्वागत करती है।

लंबे समय से की जा रही मांग पूरी हुई : अशोक कुसराम -

होशंगाबाद के पूर्व नगर पालिका उपाध्यक्ष अशोक कुसराम ने बताया कि संभाग का नाम पहले ही नर्मदापुरक किया जा चुका है। अब शहर व जिला मुख्यालय का नाम भी नर्मदापुरम होना, बड़ी खुशी की बात है। हम सब मां नर्मदा के आंचल में ही बैठे हैं, अंचल में लंबे समय से मांग की जाती रही है कि जिसे अब पूरा किया जा रहा है। हम सब इसका पूरे मन के साथ स्वागत करते हैं। क्षेत्र की जनता इस निर्णय के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की आभारी हैं।

40 वर्ष पुरानी मांग पूरी हुई : विजयपाल सिंह -

सोहागपुर क्षेत्र के विधायक विजयपाल सिंह ने बाबई का नाम माखन नगर किए जाने पर प्रतिक्रिया में कहा कि बाबई का नाम दादा माखनलाल चतुवेर्दी के नाम पर होना बड़ी खुशी की बात है। क्षेत्र की जनता पिछले 40 साल से यह मांग कर रहे थे। राष्ट्रकवि व साहित्य जगत के अमिट हस्ताक्षर दादा माखनलाल की जन्मस्थली का गौरव हमारे बाबई को मिला है, इसलिए उसका नाम दादा माखनलाल के नाम पर माखन नगर होना स्वागत योग्य है। इसके लिए क्षेत्रीय विधायक होने के नाते में जनता की तरफ से केंद्र सरकार व राज्य सरकार का धन्यवाद देता हूं।

सारंग ने भोपाल का नाम भोजपाल किये जाने की मांग की -

चिकित्सा शिक्षा मंत्री विश्वास कैलाश सारंग ने होशंगाबाद का नाम नर्मदापुरम और बाबई का माखन नगर किये जाने पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और मुख्यमंत्री शिवराज सिंह का आभार व्यक्त करते हुए भोपाल का नाम भोजपाल करने की मांग की। उन्होंने कहा कि भोपाल का नाम भोजपाल किये जाने की मांग काफी लंबे समय से करते आ रहे हैं और इस मामले को विधानसभा में भी उठा चुके हैें अब फिर से मुख्यमंत्री को पत्र लिखेंगे सारंग ने कहा कि उन शहरों और गांवों के नाम जो हमें गुलामी की याद दिलाते हैं वह मप्र में नहीं रहे इसी संकल्प के साथ होशंगाबाद का नाम बदला गया। नर्मदा मैया पूरे प्रदेश की जीवनदायिनी हैें सारंग ने टीकमगढ़वासियों की मांग पर जिले के शिवपुरी कस्बे का नाम कुंडेश्वर धाम किये जाने की घोषणा कीे उन्होंने कहा कि बाबा कुंडेश्वर की कृपा और अनुकंपा इस जिले समेत पूरे मप्र पर है।


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