JABALPUR NEWS; चार सूत्रीय मांगों को लेकर आयुर्वेद कॉलेज के छात्रों की हड़ताल जारी, गेट के अंदर फंसे लोग, मरीज परेशान

JABALPUR NEWS; चार सूत्रीय मांगों को लेकर आयुर्वेद कॉलेज के छात्रों की हड़ताल जारी, गेट के अंदर फंसे लोग, मरीज परेशान
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बता दें कि आयुर्वेद कॉलेज के छात्रों के हड़ताल का आज दूसरा दिन है। मांगों को लेकर प्रशासन द्वारा कई कार्रवाई नहीं करने को लेकर छात्रों द्वारा उठाया गया। प्रदर्शन कर रहे फाइनल ईयर के छात्र रोहित पांडे ने कहा कि आज दूसरे दिन भी हमारी स्ट्राइक चालू है

जबलपुर ; मध्यप्रदेश में इन दिनों हड़ताल का दौर जारी है। चुनावी साल होने की वजह से हर वर्ग सरकार के ऊपर दबाव बनाकर अपनी मांगे को पूरी करवाना का प्रयास कर रहा है। इसी कड़ी में पिछले दो दिनों से जबलपुर के शासकीय आयुर्वेद कॉलेज के छात्रों ने अपनी चार सूत्रीय मांगों को लेकर सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। इसके साथ ही छात्रों ने कॉलेज के गेट पर ताला लगाकर जमकर नारे बाजी की। इस वजह से मरीज को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। जिसकी वजह से परेशान लोगों ने छात्रों से गेट खोलने की मिन्नत की। लेकिन छात्रों ने उनकी एक न सुनी।

छात्रों ने कहा हम मजबूर हैं

बता दें कि आयुर्वेद कॉलेज के छात्रों के हड़ताल का आज दूसरा दिन है। मांगों को लेकर प्रशासन द्वारा कई कार्रवाई नहीं करने को लेकर छात्रों द्वारा उठाया गया। प्रदर्शन कर रहे फाइनल ईयर के छात्र रोहित पांडे ने कहा कि आज दूसरे दिन भी हमारी स्ट्राइक चालू है. मैं खेद व्यक्त करता हूं कि कई ऐसे मरीज के परिजन हैं जो परामर्श लेने आ रहे हैं उन्हें दिक्कतें आ रही हैं. लेकिन हम भी मजबूर हैं।

हड़ताल की वजह से OPD पूरी बंद

इस दौरान गेट के भीतर फंसे परिजनों का कहना है कि बाहर से बच्चे पढने आते हैं, उन्हें तकलीफों का सामना करना पड़ता है. शासन उनकी मांगें सुने लेकिन हमें क्यों परेशान किया जा रहा है? हार्ट के मरीज हमारे साथ हैं, उनके लिए दवाई नहीं ला पा रहे हैं. छात्रों के प्रदर्शन का शासन पर क्या असर होता है यह देखने वाली बात होगी। बता दें कि हड़ताल की वजह से OPD भी पूरी तरह से बंद रही। इलाज नहीं मिलने से मरीजों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ा।

जानें क्या है मुख्य मांगे

= मध्य प्रदेश के आयुर्वेद केs प्रशिक्षु गृह चिकित्सकों तथा स्नातकोत्तर अध्येताओं को दिए जाने वाले स्टायपेंड को समयानुसार संशोधित न किए जाने के कारण विसंगति उत्पन्न हो रही है। अत: भारतीय केंद्रीय चिकित्सा परिषद (NCISM) के नियमानुसारआयुर्वेद अध्येताओं की शिष्यवृत्ति/मानदेय में वृद्धि कर राज्य के अन्य विभागों की तरह उपभोक्ता मूल्य सूचकांक (CPI) से जोड़ें तथा शिष्यावृत्ति में प्रतिवर्ष वृद्धि, वर्ष को उपभोक्ता मूल्य सूचकांक के आधार पर करें।

= मध्य प्रदेश आयुर्विज्ञान विश्वविद्यालय जबलपुर द्वारा स्नातक एवं स्नातकोत्तर अध्येताओं की परीक्षा एवं शैक्षणिक गतिविधियों को विश्वविद्यालय द्वारा अकादमिक कैलेंडर अनुसार पूर्ण किया जाए। सत्र 2018-19 एवं 2019-20 की विलंब से चल रही शैक्षणिक गतिविधिया समय से पूर्ण कराई जाए।

= मध्य प्रदेश शासन के अंतर्गत लोकसेवा आयोग द्वारा आयुर्वेद चिकित्सा अधिकारी हेतु प्रतिवर्ष नवीन पदों को प्रतिवर्ष उपाधि प्राप्त करने वाले स्नातक एवं स्नातकोत्तर अध्येताओं के सम्मिलित अनुपात में नवीन पदों को सृजित किया जाए एवं मध्य प्रदेश शासन के विभिन्न निकाय (नगर निगम, पुलिस विभाग, वन विभाग, जेल विभाग इत्यादि) में प्रतिवर्ष नियमित भर्ती हेतु विज्ञप्ति जारी कर परीक्षा आयोजित कराई जाए।

= प्रदेश के आयुर्वेद स्नातकोत्तर अध्येताओं को अन्य राज्यों की तरह चिकित्सकीय अवकाश (ML) प्रदान की जाए।

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