पंजाब में किसानों के इस काम की वजह से रेलवे को हुआ 2,220 करोड़ रुपये का नुकसान, जानिए कैसे

पंजाब में किसानों के इस काम की वजह से रेलवे को हुआ 2,220 करोड़ रुपये का नुकसान, जानिए कैसे
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पंजाब में कृषि विधेयकों के खिलाफ किसानों का प्रदर्शन उग्र तो हुआ ही है इसके साथ ही यह प्रदर्शन रेलवे के लिए परेशानियों का सबब भी बना है। मालगाड़ियों व रेल गाड़ियों का परिचालन ठप होने की वजह से रेलवे को भारी नुकसान झेलना पड़ा है।

नई दिल्ली। पंजाब में कृषि विधेयकों के खिलाफ किसानों का प्रदर्शन उग्र तो हुआ ही है इसके साथ ही यह प्रदर्शन रेलवे के लिए परेशानियों का सबब भी बना है। मालगाड़ियों व रेल गाड़ियों का परिचालन ठप होने की वजह से रेलवे को भारी नुकसान झेलना पड़ा है। वहीं रेलवे ने जानकारी देते हुए बताया कि केन्द्र के कृषि सुधार कानूनों के खिलाफ किसानों द्वारा जारी विरोध के कारण उसे यात्री राजस्व में 67 करोड़ रुपये सहित 2,220 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है। उसने कहा कि 24 सितम्बर से शुरू हुए विरोध प्रदर्शन के कारण 3,850 मालगाड़ियों का संचालन प्रभावित हुआ है। अब तक 2,352 यात्री ट्रेनों को रद्द किया गया या उनके मार्ग में परिवर्तन किया गया। प्रदर्शनकारी किसानों और रेलवे के बीच अभी गतिरोध बना हुआ है क्योंकि रेलवे ने प्रदर्शनकारियों के उस प्रस्ताव को खारिज कर दिया है कि राज्य में केवल मालगाड़ियों को ही चलने दिया जायेगा। रेलवे ने कहा कि यात्री ट्रेनों को रद्द करने के कारण राजस्व घाटा 67 करोड़ रुपये है। आईआर स्तर पर कमाई का कुल नुकसान 2,220 करोड़ रुपये है। उसने कहा कि पंजाब के लिए लगभग 230 भरे हुए डिब्बे (रेक) इस समय राज्य के बाहर खड़े हैं। इनमें कोयले के 78 डिब्बे, उर्वरक के 34, सीमेंट और पेट्रोलियम, तेल के आठ और इस्पात और अन्य वस्तुओं को ले जाने वाले 102 कंटेनर शामिल हैं।

पंजाब में ही लगभग 33 रेक फंसे हुए हैं

रेलवे ने कहा कि पंजाब में ही लगभग 33 रेक फंसे हुए हैं। रेलवे ने कहा है कि उसे राज्य सरकार से पूर्ण गारंटी की आवश्यकता है कि कोई भी ट्रेन बाधित नहीं होगी और यात्री और मालगाड़ियों दोनों को ही चलने दिया जाएगा। किसानों का हालांकि कहना है कि वे मालगाड़ियों को चलने देंगे लेकिन यात्री ट्रेनों के लिए कोई गारंटी नहीं दे सकते है। किसान सरकार द्वारा हाल में पारित कृषि संबंधी विधेयकों का विरोध कर रहे हैं।

वहीं, आज किसानों के साथ बैठक करेंगे सीएम अमरिंदर

पंजाब के मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह ने केन्द्र सरकार के नए कृषि कानूनों के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे किसानों को शनिवार को बातचीत के लिए आमंत्रित किया है। भारत किसान यूनियन (दकौंडा) के राज्य महासचिव जगमोहन सिंह ने शुक्रवार को कहा कि मुख्यमंत्री ने किसान संगठनों को चंडीगढ़ में एक बैठक के लिए आमंत्रित किया है। इस संबंध में हमने शनिवार को यहां किसान भवन में एक बैठक बुलाई है और उस बैठक में मुख्यमंत्री के आमंत्रण के संबंध में जो भी सर्वसम्मति होगी हम उसके अनुसार काम करेंगे। किसान राज्य में यात्री ट्रेनों को गुजरने की अनुमति नहीं दे रहे हैं, ऐसे में मुख्यमंत्री ने केन्द्र सरकार से बृहस्पतिवार को उदारता दिखने और माल सेवाओं की बहाली को यात्री ट्रेनों की आवाजाही से नहीं जोड़ने की अपील की थी।

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