राजस्थान में कोरोना संक्रमण को देखते हुए उठाया गया कदम, सरकारी स्कूलों में पांचवीं कक्षा तक नहीं होगी परीक्षा

राजस्थान में कोरोना संक्रमण को देखते हुए उठाया गया कदम, सरकारी स्कूलों में पांचवीं कक्षा तक नहीं होगी परीक्षा
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राजस्थान सरकार ने कोरोना वायरस संक्रमण को देखते हुए सरकारी स्कूलों में पांचवीं कक्षा तक मौजूदा शिक्षा सत्र में कोई परीक्षा नहीं कराने का फैसला किया है। इन कक्षाओं के बच्चों को आकलन के आधार पर अगली कक्षा में प्रोन्नत किया जाएगा। शिक्षा विभाग ने बुधवार को इस बारे में आदेश जारी किए।

जयपुर। राजस्थान में कोरोना वायरस का प्रकोप थमने के बजाए और बढ़ता जा रहा है। इस बीमारी की वजह से प्रदेश सरकार की एक बार फिर से परेशानियों और भी ज्यादा बढ़ गई हैं। इसीलिए सरकार किसी भी तरह का जोखिम उठाने के मूड में नहीं नजर आ रही है। इसी को देखते हुए राजस्थान सरकार ने कोरोना वायरस संक्रमण को देखते हुए सरकारी स्कूलों में पांचवीं कक्षा तक मौजूदा शिक्षा सत्र में कोई परीक्षा नहीं कराने का फैसला किया है। इन कक्षाओं के बच्चों को आकलन के आधार पर अगली कक्षा में प्रोन्नत किया जाएगा। शिक्षा विभाग ने बुधवार को इस बारे में आदेश जारी किए।

इसके अनुसार कक्षा पहली से पांचवीं तक के विद्यार्थियों को स्‍माईल-1, स्‍माईल-2 एवं 'आओ घर से सीखें कार्यक्रम' के तहत किये गये आकलन के आधार पर अगली कक्षा में प्रोन्‍नत किया जायेगा। यह प्रोन्नति एक अप्रैल 2021 को की जाएगी और इसके लिए किसी तरह की परीक्षा नहीं होगी। विभाग के अनुसार छठी और सातवीं कक्षाओं के विद्यार्थियों की परीक्षा 15-22 अप्रैल तक विद्यालय स्‍तर पर, नौवीं से ग्यारहवीं कक्षाओं के विद्यार्थियों की परीक्षा 6-22 अप्रैल तक जिला स्तर पर तथा कक्षा 8 की परीक्षा बोर्ड पैटर्न पर आयोजित की जायेगी। छठी, सातवीं, नौंवी और ग्यारहवीं कक्षाओं का परिणाम 30 अप्रैल को घोषित किया जायेगा एवं बच्चों का आगामी कक्षाओं में प्रवेश एक मई से शुरू होगा। स्कूली शिक्षा मंत्री गोविंद सिंह डोटासरा ने ट्वीट किया कि कोरोना से उत्‍पन्‍न परिस्थितियों को देखते हुए सरकार ने स्‍थानीय परीक्षाओं के बारे में संवेदनशीलता से यह निर्णय किया है।

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