अशोक गहलोत बोले- कोरोना महामारी के इस विकट दौर में जीवन रक्षा हमारी सर्वोच्च प्राथमिकता, अधिकारियों को दिए ये निर्देश

राजस्थान में कोरोना वायरस का ग्राफ बढ़ता ही जा रहा है। प्रदेश में कोरोना वायरस को लेकर स्थिति भयावह रूप लेती जा रही है। वहीं इस घातक बीमारी को लेकर प्रदेश सरकार के लिए चुनौती और भी बढ़ गई है। राज्य के बड़े शहरों में तो संक्रमण के मामले और भी ज्यादा सामने आ रहे हैं। वहीं मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि कोविड-19 महामारी के इस विकट दौर में जीवन रक्षा राज्य सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता है। इसे देखते हुए निजी अस्पताल भी कोविड रोगियों के लिए बैड की संख्या बढ़ाएं और राज्य सरकार की ओर से निर्धारित दरों पर ही इलाज उपलब्ध कराएं। उन्होंने निर्देश दिए कि प्रशासनिक अधिकारियों एवं चिकित्सा विभाग की टीम यह सुनिश्चित करे कि लोगों को निजी अस्पतालों में उपचार को लेकर कोई असुविधा नहीं हो।
अशोक गहलोत ने कोरोना वायरस को लेकर मुख्यमंत्री निवास पर सीमक्षा बैठक की। इसमें अधिकारियों को इस बीमारी से लड़ने के लिए सतर्क और प्रभावी रूप से लड़ने के निर्देश भी दिए। उन्होंने कहा कि त्यौहारी सीजन, शादियों, प्रदूषण एवं सर्दी के कारण आगामी समय में संक्रमण तेजी से बढ़ सकता है। इसे ध्यान में रखते हुए राजकीय एवं निजी अस्पतालों में ऑक्सीजन एवं आईसीयू बैड सहित अन्य चिकित्सा सुविधाओं का विस्तार जरूरी है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि मरीजों में कोरोना वायरस के प्रभाव में भिन्नता देखी जा रही है। कई रोगियों में यह बेहद खतरनाक रूप में सामने आ रहा है। उन्होंने कहा कि परिस्थितियों के अनुरूप अगर मेडिकल प्रोटोकॉल में बदलाव की आवश्यकता है, तो इसके लिए विशेषज्ञों की एक टीम गठित कर मेडिकल प्रोटोकॉल पर अध्ययन करवाया जाए ताकि हम कोविड रोगियों को और बेहतर इलाज उपलब्ध करवा सकें।
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