Kisan Andolan: नवजोत सिंह सिद्धू ने पत्नी संग पटियाला और अमृतसर स्थित घर पर लहराया काला झंडा, वीडियो जारी कर की ये अपील

Kisan Andolan: नवजोत सिंह सिद्धू ने पत्नी संग पटियाला और अमृतसर स्थित घर पर लहराया काला झंडा, वीडियो जारी कर की ये अपील
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कांग्रेस के दिग्गज नेता नवजोत सिंह सिद्धू ने सोमवार को कहा था कि हम किसानों के समर्थन में अपने घर पर काला झंडा लहराएंगे। उन्होंने पंजाब समेत दूसरे राज्यों के लोगों से भी ऐसा ही करने का आह्वाहन किया है। उन्होंने यह बात अपने सोशल मीडिया अकाउंट ट्विटर पर भी लिखकर पोस्ट की।

केंद्र सरकार द्वारा बनाये गये कृषि कानूनों के विरोध में पिछले काफी समय से (Farmers Protest) किसानों का विरोध प्रदर्शन जारी है। अब इस विरोध में कांग्रेस के दिग्गज नेता नवजोत सिंह सिद्धू भी उतर गये हैं। जिसके बाद उन्होंने किसानों के समर्थन में अपने घर पर (Black Flag) काला झंडा लगा दिया है। पटियाला और अमृतसर स्थित घर पर काला झंडा लगाने के बाद नवजोत सिंह ने पत्नी के साथ एक वीडियो बनाकर ट्वीट भी किया। यहां उन्होंने लिखा कि यह काला झंडा विरोध में फहराया है हर पंजाबी को किसानों का साथ देना चाहिए। उनके साथ आना चाहिए।

एक दिन पहले ही कर दी थी अपील

दरअसल, कांग्रेस के दिग्गज नेता (Navjot Singh Sindhu) नवजोत सिंह सिद्धू ने सोमवार को कहा था कि हम किसानों के समर्थन में अपने घर पर काला झंडा लहराएंगे। उन्होंने पंजाब समेत दूसरे राज्यों के लोगों से भी ऐसा ही करने का आह्वान किया है। उन्होंने यह बात अपने सोशल मीडिया अकाउंट ट्विटर पर भी लिखकर पोस्ट की। इस में उन्होंने कहा कि किसानों के प्रदर्शन में मैं उनके साथ हूं। उनके समर्थन में मैं मंगलवार सुबह साढ़े नौ बजे अपने पटियाला और अमृतसर स्थित घर पर काला झंडा लहराऊंगा। सभी से अनुरोध है कि वह भी ऐसा ही करें। यह तब तक करें जब तक सरकार इन काले कानूनों को वापस नहीं ले लेती। साथ ही राज्य सरकार के जरिये निश्चित तौर पर एमएसपी और खरीद की वैकल्पिक प्रक्रिया मुहैया नहीं करा दी जाती'

बता दें कि तीन कृषि कानूनों की वापसी की मांग पर पिछले कई महीनों से धरने पर बैठे किसान संगठनों न आंदोलन के समर्थन में लोगों से अपने घरों पर काला झंडा लगाने की अपील की थी। उन्होंने इसमें मजदूर से लेकर कर्मचारी और कारोबारियों से भी घर पर काला झंडा लगाकर साथ आने का आवाहन किया था। नवंबर से हरियाणा से लेकर दिल्ली के बॉर्डर पर बैठे किसान अपनी मांगों पर कायत है। वहीं 22 जनवरी से किसान संगठन और केंद्र के बीच कोई बातचीत नहीं हुई है।

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