Bihar Caste Census: पटना HC से नीतीश सरकार की बड़ी जीत, जातीय जनगणना के खिलाफ सभी याचिका खारिज

Bihar Caste Census: पटना HC से नीतीश सरकार की बड़ी जीत, जातीय जनगणना के खिलाफ सभी याचिका खारिज
X
Bihar Caste Census: पटना हाई कोर्ट (Patna High Court) ने जातीय जनगणना (Caste Census) के खिलाफ सभी याचिकाओं को खारिज कर दिया है। कोर्ट ने साफ कर दिया है कि जातीय जनगणना होती रहेगी। यह बिहार की नीतीश सरकार के लिए बड़ी जीत है।

Bihar Caste Census: पटना हाई कोर्ट (Patna High Court) में बिहार सरकार की बड़ी जीत हुई है। कोर्ट ने बिहार में जातीय जनगणना (Caste Census) के खिलाफ सभी याचिकाओं को खारिज कर दिया है। कोर्ट ने साफ कर दिया है कि जातीय जनगणना जारी रहेगी, इस पर रोक नहीं लगाई जाएगी। नीतीश सरकार के जातिगत जनगणना कराने के फैसले के खिलाफ 6 याचिकाएं पटना हाई कोर्ट में दाखिल की गई थीं। सभी याचिकाओं में इस जनगणना पर रोक लगाने की मांग की गई थी, लेकिन कोर्ट ने सभी 6 याचिकाओं को खारिज कर दिया है।

सरकार ने जनगणना कराने के दिए ये तर्क

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, राज्य सरकार की तरफ से पटना हाई कोर्ट में कहा गया था कि सरकारी योजनाओं का फायदा लेने के लिए सभी लोग अपनी जाति बताने के लिए आतुर होते हैं। बिहार सरकार ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट के फैसले के मुताबिक, 50 फीसदी तक आरक्षण दिया जा सकता है। नगर निकाय और पंचायत चुनाव में 13 फीसदी आरक्षण दिया जा सकता है। सरकार ने इन्हीं सभी तर्क के आधार पर कहा था कि जातीय गणना काफी जरूरी है। इन याचिकाओं के खिलाफ चीफ जस्टिस केवी चंद्रन की खंडपीठ ने लगातार पांच दिनों तक सुनवाई की।

केंद्र सरकार जातीय जनगणना के खिलाफ

बिहार की नीतीश सरकार ने 18 फरवरी, 2019 और 27 फरवरी, 2020 को जातीय जनगणना का प्रस्ताव विधानसभा और विधान परिषद में पास कराया था। हालांकि, केंद्र सरकार इसके विरोध में है। जातीय जनगणना का प्रस्ताव पास होते ही केंद्र ने सुप्रीम कोर्ट में हलफनामा दायर करते हुए इस पर रोक लगाने की मांग की थी। केंद्र ने हलफनामा में कहा था कि ओबीसी जातियों की गिनती करना लंबा और कठिन काम है। हालांकि, अब पटना हाई कोर्ट ने साफ कर दिया है कि इस जनगणना पर रोक नहीं लगाई जाएगी।

ये भी पढ़ें...Bihar Caste Census 2023: बिहार में बदल गया जातियों का कोड, जारी हुई नई सूची, जानें आपकी जाति का कोड

Tags

Next Story