तेलंगाना कांग्रेस का आरोप- TRS ने प्रशांत किशोर को आगमी चुनाव जीतने में मदद के लिए 500 करोड़ रुपये की पेशकश की

तेलंगाना कांग्रेस का आरोप- TRS ने प्रशांत किशोर को आगमी चुनाव जीतने में मदद के लिए 500 करोड़ रुपये की पेशकश की
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सीएम के चंद्रशेखर राव के एक करीबी सूत्र ने पुष्टि की है कि प्रशांत किशोर उनके संपर्क में हैं। प्रशांत किशोर ने हाल ही में केसीआर के निर्वाचन क्षेत्र गजवेल और उनकी सरकार की प्रमुख परियोजना 'कलेश्वरम' की साइट का दौरा भी किया।

तेलंगाना (Telangana) में कांग्रेस (Congress) ने आरोप लगाया है कि सत्तारूढ़ तेलंगाना राष्ट्र समिति (Telangana Rashtra Samithi) ने राजनीतिक रणनीतिकार प्रशांत किशोर (political strategist Prashant Kishor) को राज्य में अगला विधानसभा चुनाव (Assembly election) जीतने में मदद करने के लिए 500 करोड़ रुपये की पेशकश की है। सियासी गलियारे में यह चर्चा है कि टीआरएस प्रमुख और तेलंगाना के मुख्यमंत्री के चंद्रशेखर राव आगामी चुनावों के लिए प्रशांत किशोर के नेतृत्व वाली इंडियन पॉलिटिकल एक्शन कमेटी (आई-पीएसी) की सेवाओं को सूचीबद्ध करने और खुद को राष्ट्रीय स्तर पर पहुंचाने की योजना बना रहे हैं।

राजनीतिक रणनीति समूह ने पहले सीएम ममता बनर्जी, वाईएस जगन मोहन रेड्डी, नीतीश कुमार, अमरिंदर सिंह और नरेंद्र मोदी के साथ काम किया है। सीएम के चंद्रशेखर राव के एक करीबी सूत्र ने पुष्टि की है कि प्रशांत किशोर उनके संपर्क में हैं। प्रशांत किशोर ने हाल ही में केसीआर के निर्वाचन क्षेत्र गजवेल और उनकी सरकार की प्रमुख परियोजना 'कलेश्वरम' की साइट का दौरा भी किया।

कांग्रेस का दावा- टीआरएस को हराएगी पार्टी

वहीं कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रवक्ता दासोजू श्रवण ने कहा है कि साल 2018 के विधानसभा चुनावों के दौरान, टीआरएस को 41 फीसदी वोट शेयर मिले, कांग्रेस पार्टी को 30 फीसदी और बीजेपी ने केवल 19 फीसदी वोट शेयर हासिल किया। कैलकुलेशन के अनुसार, कांग्रेस पार्टी ने वोट शेयर में दूसरे स्थान हासिल किया है। पार्टी अगले चुनाव में टीआरएस को हराने में कामयाब होगी। मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, श्रवण ने कहा कि तेलंगाना में हर जगह सत्ता विरोधी भावना बढ़ गई है। कांग्रेस सत्ताधारी सरकार की जनविरोधी नीतियों के बारे में जनता को बता रही है।

विपक्षी कांग्रेस पार्टी ने राष्ट्रपति के चुनाव और विवादास्पद कृषि विधेयकों का हवाला देते हुए दावा किया कि बीते 8 सालों से टीआरएस और भाजपा के बीच एक मौन समझौता है। बता दें कि तेलंगाना में 2023 में विधानसभा चुनाव होंगे। इस बीच सीएम केसीआर भाजपा विरोधी मोर्चा बनाने के लिए समान विचारधारा वाले नेताओं से मिलने में व्यस्त हैं।

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