ब्रिटिश सांसद ने सरकार को लिखा पत्र, भारतीय डॉक्टर की आत्महत्या पर जांच की मांग

ब्रिटिश सांसद ने सरकार को लिखा पत्र, भारतीय डॉक्टर की आत्महत्या पर जांच की मांग
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ब्रिटेन की पहली महिला सिख सांसद प्रीत कौर गिल ने ब्रिटिश सरकार को पत्र लिखा है। पत्र में भारतीय मूल की एक डॉक्टर की आत्महत्या करने के मामले में एनएचएस हॉस्पिटल ट्रस्ट के खिलाफ स्वतंत्र जांच कराने की मांग की गई है।

ब्रिटेन की पहली महिला सांसद प्रीत कौर गिल ने ब्रिटिश सरकार को पत्र लिखा है। पत्र में सांसद ने भारतीय मूल की एक महिला डॉक्टर की आत्महत्या और कर्मचारियों द्वारा उसे परेशान किए जाने पर बर्मिंघम में नेशनल हेल्थ सर्विस (एनएचएस) हॉस्पिटल ट्रस्ट की स्वतंत्र जांच कराने की मांग की है। बर्मिंघम एजबैस्टन से सांसद प्रीत कौर गिल ने ब्रिटेन के स्वास्थ्य मंत्री स्टीव बार्कले को लिखा पत्र ट्विटर पर पोस्ट किया। इसमें उन्होंने यूनिवर्सिटी हॉस्पिटल्स बर्मिंघम एनएचएस फाउंडेशन ट्रस्ट (यूएचबी) में कामकाज के तरीकों की जांच करने की मांग की है।

बता दें कि यह अस्पताल बर्मिंघम एजबैस्टन में ही स्थित है। उन्होंने इस हॉस्पिटल में काम करने वाली 35 वर्षीय डॉ. वैष्णवी कुमार की आत्महत्या का जिक्र करते हुए कहा कि उन्हें काफी अपमानित किया जा रहा था। इसके कारण से वह घर आकर रोती थीं। साथ ही, उन्होंने कहा कि यहां काम कर रहे कई कर्मियों ने बताया कि इस अस्पताल में 'मुंह बंद रखो या काम छोड़ दो' की संस्कृति चलती है। मीडिया रिपोर्ट्स की पड़ताल के मुताबिक पाया गया कि अस्पताल के चिकित्सकों को सुरक्षा चिंताएं जताने के लिए सजा दी गई है। इस वजह से सांसद ने मामले की स्वतंत्र जांच कराने की मांग की है ताकि आरोपियों को सजा मिल सके और आगे से दोबारा ऐसी घटना न हो। बता दें कि यूएचबी ब्रिटेन के बड़े एनएचएस ट्रस्ट में से एक है, जो इलाके में कई अस्पतालों का प्रबंधन करता है।

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