पूर्व बीसीसीआई सेलेक्टर Saba Kareem का खुलासा, MS Dhoni के करियर को लेकर कही बड़ी बात

पूर्व बीसीसीआई सेलेक्टर Saba Kareem का खुलासा, MS Dhoni के करियर को लेकर कही बड़ी बात
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पूर्व बीसीसीआई सेलेक्टर सबा करीम (Saba Kareem) ने अपने एक इंटरव्यू में भारतीय क्रिकेट टीम (Indian Cricket Team) के पूर्व कप्तान महेन्द्र सिंह धोनी (MS Dhoni) को लेकर बड़ा खुलासा किया है। पढ़ें पूरी खबर...

पूर्व कप्तान महेंद्र सिंह धोनी (MS Dhoni) आईसीसी (ICC) की सभी व्हाइट-बॉल ट्रॉफी जीतने वाले भारत के इकलौते कप्तान हैं। उन्हें भारतीय क्रिकेट का अब तक का सबसे महान कप्तान कहा जाता है। खेल के इतिहास में सर्वश्रेष्ठ विकेटकीपर (Wicket-keeper) बल्लेबाजों में से एक धोनी ने अपने करियर में 17,000 से अधिक रन बनाए। अपने रिटायरमेंट (Retirement) के बाद धोनी इंडियन प्रीमियर लीग (Indian Premier League) में चेन्नई सुपर किंग्स (Chennai Super Kings) का नेतृत्व कर रहे हैं।

धोनी के पास फुटवर्क की कमी

हाल ही में एमएस धोनी के पूर्व टीम साथी सबा करीम ने उस समय को याद किया जब धोनी भारत के घरेलू टूर्नामेंट रणजी ट्रॉफी (Ranji Trophy) में बिहार राज्य के लिए खेलते थे। सबा करीम बताते हैं कि तब उनके पास फुटवर्क (Footwork) की कमी थी। करीम ने कहा कि उन्होंने एमएस धोनी को उनके फुटवर्क के संबंध में कुछ सलाह दी, जिससे उन्हें अपने खेल को निखारने में मदद मिली और यही उनके करियर में महत्वपूर्ण मोड़ साबित हुआ। सबा करीम ने कहा कि पहली बार रणजी ट्रॉफी में धोनी को उनके दूसरे वर्ष के दौरान देखा। तब वे बिहार (Bihar) के लिए खेलते थे। मैंने उन्हें बल्लेबाजी (Batting) और कीपिंग करते देखा था। सबा करीम कहते हैं कि मुझे अभी भी याद है कि जब वे बल्लेबाजी कर रहे थे और स्पिनर या तेज गेंदबाज को लंबे शॉट लगा रहे थे। हालांकि, विकेटकीपिंग के लिए जो फुटवर्क होना चाहिए था, उसमें थोड़ी कमी थी।

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वनडे मैचों में की ओपनिंग

पूर्व सेलेक्टर सबा करीम ने धोनी के बारे में बात करते हुए बताया कि हमने उस समय धोनी के साथ काम किया था। जब हम बातचीत करते थे, तो वे इसके बारे में बात करते थे। यह धोनी के करियर का एक महत्वपूर्ण मोड़ था, जहां वे वास्तव में आगे बढ़े। करीम ने कहा कि एमएस धोनी के करियर का दूसरा महत्वपूर्ण मोड़ तब था, जब वे 2003 में भारत ए और पाकिस्तान ए और केन्या के बीच त्रिकोणीय श्रृंखला में अपने हरफनमौला प्रदर्शन से प्रसिद्ध हुए। दूसरा निर्णायक मोड़ भारत (India) 'ए', पाकिस्तान (Pakistan) 'ए' और केन्या (Kenya) के बीच केन्या में त्रिकोणीय श्रृंखला थी। उसमें एमएस धोनी को खेलने का मौका मिला, क्योंकि दिनेश कार्तिक (Dinesh Karthik) का चयन राष्ट्रीय टीम (National Team) हुआ था। वहां धोनी ने अच्छी विकेटकीपिंग और शानदार बल्लेबाजी की, जो धोनी के करियर में महत्वपूर्ण मोड़ साबित हुआ।

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