कोहली-गांगुली विवाद में आया नया मोड, 9 लोगों के सामने Virat Kohli से पूछा था T20 कप्तानी छोड़ना ठीक होगा?

कोहली-गांगुली विवाद में आया नया मोड, 9 लोगों के सामने Virat Kohli से पूछा था T20 कप्तानी छोड़ना ठीक होगा?
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कोहली के टी20 कप्तानी छोड़ने के फैसले पर बोर्ड ने उनसे बात की थी। दरअसल एक मीटिंग के दौरान इस मुद्दे पर चर्चा हुई थी उस वक्त वहां 9 लोग मौजूद थे।

खेल। 15 दिसंबर को साउथ अफ्रीका (South Africa) रवाना होने से पहले भारतीय टेस्ट कप्तान विराट कोहली (Virat Kohli) ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर बताया था कि उन्हें वनडे कप्तानी छोड़ने के बारे में टीम के ऐलान से डेढ़ घंटे पहले बताया गया था। साथ ही उन्होंने सौरव गांगुली (Sourav ganguly) के उस बयान पर पलटवार किया जिसमें बीसीसीआई (BCCI) प्रमुख ने कहा था कि उन्होंने कोहली को टी20 की कप्तानी ना छोड़ने के लिए कहा था, लेकिन कोहली नहीं मानें। वहीं कोहली ने प्रेस वार्ता कर कहा कि जब उन्होंने टी20 की कप्तानी छोड़ने के बारे में बताया तो सबने कहा कि अच्छा फैसला है।

9 लोग थे मौजूद

अब कोहली की प्रेस कॉन्फ्रेंस के बाद बोर्ड की कार्यशैली पर सवाल उठ रहे हैं साथ ही गांगुली पर गलतबयानबाजी के आरोप भी लग रहे हैं। वहीं इसी बीच समाचार एजेंसी पीटीआई की एक रिपोर्ट के अनुसार कोहली के टी20 कप्तानी छोड़ने के फैसले पर बोर्ड ने उनसे बात की थी। दरअसल एक मीटिंग के दौरान इस मुद्दे पर चर्चा हुई थी उस वक्त वहां 9 लोग मौजूद थे। साथ ही पीटीआई की मानें तो एक बड़े अधिकारी ने दावा करते हुए कहा है कि कोहली से 9 लोगों की मौजूदगी में पूछा गया था कि क्या टी20 कप्तानी छोड़ना उचित होगा। इनमें पांच चयनकर्ता, अध्यक्ष गांगुली, सचिव जय शाह, कप्तान कोहली के अलावा रोहित शर्मा भी मौजूद थे।

आईपीएल 2021 के दौरान हुई थी मीटिंग

वहीं बताया ये भी जा रहा है कि ये मीटिंग वास्तव में आईपीएल 2021 के दूसरे हाफ के दौरान यूएई में हुई थी। इसमें सभी लोग वर्चुअल मीटिंग के जरिए मिले थे। लेकिन उस दौरान ये तय नहीं था कि कोहली वर्ल्डकप से पहले ही कप्तानी छोड़ देंगे। गौरतलब है कि उस दौरान विराट कोहली ने टी20 क्रिकेट की कप्तानी छोड़ने की वजह वर्कलोड बताया।

गांगुली हैं बेहद नाराज

साथ ही पीटीआई ने लिखा है कि प्रेस कॉन्फ्रेंस के बाद से ही बोर्ड अध्यक्ष सौरव गांगुली कोहली के बयान से खासा नाराज हैं। बोर्ड के एक वरिष्ठ और अनुभवी अधिकारी ने पीटीआई को बताया कि बोर्ड के लिए ये मामला काफी पेचीदा है। क्योंकि बोर्ड बयान जारी करता है तो कप्तान को झूठा साबित करेगा और अगर बयान जारी नहीं करेगा तो बोर्ड प्रमुख पर सवाल उठेंगे।

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