Tokyo Olympics: इतिहास रचने के बाद कप्तान रानी रामपाल ने कहा- हमने जीत के लिए जी जान लगा दी, यकीन नहीं हो रहा

Tokyo Olympics: इतिहास रचने के बाद कप्तान रानी रामपाल ने कहा- हमने जीत के लिए जी जान लगा दी, यकीन नहीं हो रहा
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कप्तान रानी राममपाल ने कहा कि मुझे अपनी पूरी टीम पर गर्व है, हमने एक-दूसरे से कहा था कि हम जान लगा देंगे और हमने किया भी वही। जिसके कारण हमें जीत हासिल हुई, साथ ही उन्होंने कहा कि जब हम जीते तो हमें विश्वास ही नहीं हुआ, आज हर कोई हमारे लिए ताली बजा रहा है।

खेल। टोक्यो ओलंपिक (Tokyo Olympics) में सेमीफाइनल (Semifinal) में अपनी जगह पक्की करने के साथ ही भारतीय महिला हॉकी टीम (India Women Hockey team) ने इतिहास रच दिया है। सेमीफाइनल में पहुंचकर टीम ने मेडल की उम्मीद को बरकरार रखा है, क्वार्टरफाइनल में ऑस्ट्रेलिया (Australia) को हराकर जीत हासिल करने पर कोई कोई खुशी है जिसके बाद देश की शेरनियों को हर कोई बधाई दे रहा है।

वहीं जीत के बाद टीम की अगुवाई करने वाली कप्तान रानी राममपाल (Rani RamPal) ने कहा कि मुझे अपनी पूरी टीम पर गर्व है, हमने एक-दूसरे से कहा था कि हम जान लगा देंगे और हमने किया भी वही। जिसके कारण हमें जीत हासिल हुई, साथ ही उन्होंने कहा कि जब हम जीते तो हमें विश्वास ही नहीं हुआ, आज हर कोई हमारे लिए ताली बजा रहा है।

इसके साथ ही महिला हॉकी टीम के कोच शोर्ड मारिने (Sjoerd Marijne) ने कहा कि हम मैच दर मैच खेलेंगे, सबकुछ माइंडसेट पर निर्भर करता है। ये हमारे लिए सपना सच होने जैसा है, अगले मैच में भी हम छोटी चीजों पर काफी फोकस करेंगे, फिलहाल अभी टीम को एन्जॉय करने दो, आगे का सफर हमारे लिए बेहद अहम है। जीत की नायिका रही सविता पूनिया (Savita Punia) ने कहा कि हमें पता था कि ये 60 मिनट फिर नहीं आएंगे, ये करो या मरो जैसी स्थिति थी, टीम वर्क के कारण से हमें ये शानदार जीत हासिल हुई है।

बता दें कि भारतीय महिला हॉकी टीम ने क्वार्टरफाइनल मुकाबले में ऑस्ट्रेलिया को 1-0 से शिकस्त दी, वहीं भारत की ओर से गुरजीत कौर ने 22वें मिनट में गोल किया। लेकिन जीत की नायिका सविता पूनिया रहीं, जिन्होंने ऑस्ट्रेलिया की टीम से सामने दीवार बनकर दमदार प्रदर्शन किया और सात पेनल्टी कॉर्नर के बावजूद कोई गोल नहीं होने दिया।

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