अब अपने पदक का रंग नहीं बदल पाएंगी मीराबाई चानू!, अधूरा रह सकता है सपना

अब अपने पदक का रंग नहीं बदल पाएंगी मीराबाई चानू!, अधूरा रह सकता है सपना
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बता दें कि अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक समिति (IOC) के पास किसी भी खेल को ओलंपिक कार्यक्रम से हटाने के पूरे अधिकार हैं। इन्हीं अधिकारों के कारण पहली गाज वेटलिफ्टिंग पर गिर सकती है।

खेल। टोक्यो ओलंपिक (Tokyo Olympics) में भारत के लिए पहला पदक जीतने वाली मीराबाई चानू (Chanu Saikhom Mirabai) के लिए एक बुरी खबर है। दरअसल वेटलिफ्टिंग (Weightlifting) में सिल्वर मेडल (Silver Medal) जीतने वाली चानू अब पेरिस ओलंपिक (Paris olympics 2024) में अपने पदक का रंग नहीं बदल पाएंगी, उनका पदक बदलने का सपना आईओसी (IOC) तोड़ने जा रहा है। बता दें कि अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक समिति (IOC) के पास किसी भी खेल को ओलंपि कार्यक्रम से हटाने के पूरे अधिकार हैं। इन्हीं अधिकारों के कारण पहली गाज वेटलिफ्टिंग पर गिर सकती है।

बता दें कि वेटलिफ्टिंग और मुक्केबाजी की संचालन व्यवस्था लंबे अरसे से विवादों में है। वेटलिफ्टिंग के साथ डोपिंग की समस्या आए दिन रहती है ऐसे में इस खेल पर पेरिस में 2014 खेलों से बाहर होने का खतरा मंडरा रहा है। वेटलिफ्टिंग और मुक्केबाजी से जुड़े मुद्दों के लिए आईओसी के सदस्यों ने वोटिंग करके खेलों की सबसे बड़ी संस्था को किसी भी खेल को ओलंपिक कार्यक्रम से बाहर करने का अधिकार दिया हैं। वहीं आईओसी ने कहा है कि अगर कोई खेल आईओसी के कार्यकारी बोर्ड के फैसलों का पालन नहीं करता है या ऐसा किसी भी तरह का काम करता है जिससे ओलंपिक की छवि धूमिल होती है तो आईओसी उसे ओलंपिक कार्यक्रम से हटा सकती है।

IOC प्रमुख थामस बाक की अध्यक्षता वाले कार्यकारी बोर्ड को किसी खेल संचालन संस्था के किसी फैसले का पालन नहीं करने पर उस खेल को ओलंपिक से बाहर करने का अधिकार है। जिसके कारण सबसे ज्यादा प्रभाव मुक्केबाजी और वेटलिफ्टिंग पर पड़ सकता है। इसलिए मुक्केबाजी में पेरिस ओलंपिक के लिए खिलाड़ियों का कोटा कम कर दिया गया है जबकि वेटलिफ्टिंग को इन खेलों से पूरी तरह से ही हटाया जा सकता है।

इस पूरे मामले पर आईओसी उपाध्यक्ष जॉन कोट्स का कहना है कि हाल में IOC को कुछ इंटरनैशनल महासंघों के संचालन से जुड़ी परेशानियों से निपटना पड़ रहा है। भरोत्तोलन से लंबे समय से डोपिंग और संचालन संबंधी मुद्दे जुड़े हुए हैं साथ ही इनमें वित्तीय भ्रष्टाचार भी शामिल है। वहीं बता दें कि दो दशक तक इंटरनैशनल वेटलिफ्टिंग महासंघ की कमान टामस अजान के पास थी लेकिन पिछले साल उन्हें अपना पद छोड़ना पड़ा। लेकिन 2016 रियो ओलंपिक के दौरान मुक्केबाजी मुकाबलों पर उठे सवालों और अध्यक्ष के चुनाव से जुड़ी परेशानियों के कारण ओलंपिक की मुक्केबाजी को 2019 में ही अंतरराष्ट्रीय मुक्केबाजी संघ ने नियंत्रण से हटा दिया था।

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