शारीरिक दिव्यांगता को IAS इरा सिंघल ने दी मात, प्रतिबद्ध, समर्पित और कड़ी मेहनत से पूरा किया सपना

शारीरिक दिव्यांगता को IAS इरा सिंघल ने दी मात, प्रतिबद्ध, समर्पित और कड़ी मेहनत से पूरा किया सपना
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इरा सिंघल यूपीएससी (UPSC) की सामान्य श्रेणी में टॉप करने वाली देश की पहली प्रतिभागी हैं, जिन्होंने यूपीएससी जैसी परीक्षा में साल 2014 में टॉप किया और युवाओं के लिए प्रेरणा बनीं।

कहते हैं कुछ कर गुजरने का हौसला हो तो परेशानियां भी बौनी लगने लगती हैं। इसका उदाहरण IAS इरा सिंघल (IAS Ira Singhal) है। जिन्होंने अपनी शारीरिक अक्षमता (Physical disability) को कभी भी अपने सपने के बीच नहीं आने दिया। इरा सिंघल यूपीएससी (UPSC) की सामान्य श्रेणी में टॉप करने वाली देश की पहली प्रतिभागी हैं, जिन्होंने यूपीएससी जैसी परीक्षा में साल 2014 में टॉप किया और युवाओं के लिए प्रेरणा बनीं। प्रतिबद्ध, समर्पित और कड़ी मेहनत का दूसरा नाम इरा सिंघल है।

बचपन में देखा था IAS बनने का सपना

उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के मेरठ की रहने वाली इरा ने बचपन में एक बेहद सुंदर सपना देखा था। डीएम यानी जिलाधिकारी बनने का सपना, जिसे पूरा करने के लिए भरसक प्रयास किया। जिंदगी के शुरुआती दिनों में वो मेरठ में रहीं हालांकि, बाद में उनका पूरा परिवार दिल्ली आकर बस गया। जिस उम्र में बच्चे खेल कूद और मस्ती करते हैं उस उम्र में इरा ने डीएम बनने का सपना देखा। दरअसल जब इरा 7-8 साल की थी तो मेरठ में दंगों के कारण कई दिनों तक कर्फ्यू लगा था, बस उसी दौरान उन्होंने लोगों को कहते सुना कि मेरठ में कर्फ्यू लगा है जिसे डीएम यानी जिलाधिकारी लगाता है। तभी से उन्होंने सोच लिया था कि वो एक दिन डीएम बनेंगी।

इरा ने ग्रेजुएशन की डिग्री लेने के बाद एफएमएस (फैकल्टी ऑफ मैनेजमेंट स्टडीज) से एमबीए की डिग्री ली। फिर स्ट्रैटेजी मैनेजर के तौर पर एक बड़ी कन्फेक्शनरी में काम किया। इरा इस नौकरी से खुश तो थी लेकिन उन्हें संतुष्टी नहीं मिल रही थी। बाद में उन्होंने अपने बचपन के सपने को पूरा करने की ठानी और यूपीएससी परीक्षा की तैयारी शुरु कर दी।

UPSC में टॉप किया

कई बार साल 2010, 2011 और 2013 में भी UPSC की परीक्षा दी, तीन प्रयास करने के बाद उन्हें IRS की पोस्टिंग मिली लेकिन शारीरिक रूप से अक्षम होने के कारण उन्हें इस पोस्ट को ज्वाइन नहीं करने दिया। उन्हें इस बात से इतनी ठेस पहुंची और वो आयोग के खिलाफ कोर्ट पहुंची। कोर्ट में जीत दर्ज करने के बाद उन्हें पोस्टिंग मिली लेकिन फिर भी उन्होंने IAS की तैयारी को जारी रखा। और आखिरकार उन्हें साल 2014 में सफलता हासिल हुईं और उन्होंने सामान्य श्रेणी से UPSC परीक्षा में टॉप किया।

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