लोकसभा चुनाव 2019 : आजमगढ़ में विरोधियों पर हमले का चुनावी हथियार बना बिरहा

लोकसभा चुनाव 2019 : आजमगढ़ में विरोधियों पर हमले का चुनावी हथियार बना बिरहा
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पूर्वांचल की हाईप्रोफाइल लोकसभा सीट आजमगढ़ में चुनाव की तारीख नजदीक आने के साथ प्रचार अभियान संगीतमय हो गया है जिसमें भाजपा एवं सपा एक दूसरे पर 'चुनावी बिरहा' के जरिये हमले कर रहे हैं। भाजपा उम्मीदवार एवं भोजपुरी फिल्मों के सुपरस्टार दिनेश लाल यादव 'निरहुआ' अपनी सभाओं में नून (नमक)- रोटी खाएंगे, मोदी को जिताएंगे

पूर्वांचल की हाईप्रोफाइल लोकसभा सीट आजमगढ़ में चुनाव की तारीख नजदीक आने के साथ प्रचार अभियान संगीतमय हो गया है जिसमें भाजपा एवं सपा एक दूसरे पर 'चुनावी बिरहा' के जरिये हमले कर रहे हैं। भाजपा उम्मीदवार एवं भोजपुरी फिल्मों के सुपरस्टार दिनेश लाल यादव 'निरहुआ' अपनी सभाओं में नून (नमक)- रोटी खाएंगे, मोदी को जिताएंगे का गीत गाकर चुनावी फ़िज़ा को अपने पक्ष में करने की कोशिश में हैं।

सपा की तरफ से उनके चचेरे भाई एवं बिरहा सम्राट के नाम से मशहूर विजय लाल यादव दूध-रोटी खाएंगे, अखिलेश को जिताएंगे गाकर 'निरहुआ' पर जवाबी हमले कर रहे हैं। दरअसल, पूर्वांचल का लोक गीत बिरहा आजमगढ़ में चुनाव प्रचार का केंद्रबिंदु बन गया है। भोजपुरी फिल्मों में कदम रखने से पहले खुद 'निरहुआ' भी बिरहा गाते थे। इस दिलचस्प चुनावी अभियान के बारे पूछे जाने पर 'निरहुआ' ने कहा, 'लोकगीत को यहां के लोग बहुत प्यार करते हैं।

यही वजह है कि जनता मुझ जैसे कलाकार से बहुत प्यार करती है। जनता ने तय कर लिया है कि नरेंद्र मोदी को फिर से लाना है। हम लोग जनता की इसी भावना को प्रकट कर रहे हैं। सपा के लिए प्रचार कर रहे विजय लाल यादव कहते हैं, मैं सदा समाजवादी था और सदा रहूंगा। 'निरहुआ' कहते हैं नून-रोटी खाएंगे, मोदी को जिताएंगे, लेकिन मैं कहता हूं कि दूध-रोटी खाएंगे, अखिलेश को जिताएंगे।

बिरहा जगत हमेशा सपा के साथ रहा है और इस बार भी है। विजय लाल द्वारा विरोध में प्रचार करने पर 'निरहुआ' का कहना है, विजय लाल जी मेरे बड़े भाई हैं। हमारी विचारधारा की लड़ाई है। वैसे हमारे व्यक्तिगत संबंध में किसी तरह की कोई कड़वाहट नहीं है। भाजपा की सभाओं में बजाए जा रहे गाने मुख्य रूप से प्रधानमंत्री मोदी, राष्ट्रवाद और मायावती एवं अखिलेश पर केंद्रित हैं।

मसलन, भाजपा की सभाओं में यह गीत खूब सुनने को मिलता है कि दिल्ली मा बीजेपी का झंडा फिर लहराई, बुआ-बबुआ-राहुल जी के गठबंधन बिखर जाई। इसी तरह से सपा की सभाओं में मोदी और योगी को निशाना बनाकर गीत गाए जा रहे हैं। उनमें से यह गाना पार्टी समर्थकों के बीच खासा लोकप्रिय है कि बुआ और बबुआ का मेल हो गयल, मोदी क गणित सब फेल हो गयल।

दोनों पार्टियों की सभाओं में नेताओं के आगमन से पहले जमकर बिरहा गायन हो रहा है। 'निरहुआ' तो अपनी हर सभा में बिरहा अथवा भोजपुरी गानों से लोगों की खूब तालियां बटोर रहे हैं। बिरहा के चुनाव प्रचार का केंद्रबिंदु बन जाने के बारे में स्थानीय पत्रकार प्रवीण टिबड़ेवाल कहते हैं, पूर्वांचल, खासकर आजमगढ़ में बिरहा और लोकगीत का चुनाव प्रचार में पहले भी बहुत इस्तेमाल होता रहा है।

इस बार खुद 'निरहुआ' जैसा कलाकार चुनावी मैदान में है तो संगीत का कुछ ज्यादा बोलबाला दिखाई दे रहा है। गौरतलब है कि आजमगढ़ सीट पर सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव गठबंधन प्रत्याशी हैं तो भाजपा की ओर से 'निरहुआ' उन्हें चुनौती दे रहे हैं। यहां 12 मई को मतदान होना है।


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