दिल्ली में फिर तेजी पैर पसार रहा है कोरोना, बढ़ती संक्रमण दर पर स्वास्थ्य मंत्री ने कही ये बात
देश में कोरोना वायरस (corona virus) के नए वेरिएंट (new variants) आने के बाद दिल्ली में एक बार फिर संक्रमित मामलों की संख्या में लगातार वृद्धि देखने को मिल रही हैं। इसी के कारण राजधानी में संक्रमण दर (infection rate) 1.5 प्रतिशत के करीब पहुंच गई हैं।;
देश में कोरोना वायरस (corona virus) के नए वेरिएंट (new variants) आने के बाद दिल्ली में एक बार फिर संक्रमित मामलों की संख्या में लगातार वृद्धि देखने को मिल रही हैं। इसी के कारण राजधानी में संक्रमण दर (infection rate) 1.5 प्रतिशत के करीब पहुंच गई हैं। कुछ हफ्तों से दिल्ली में कोविड के मामले 1 फीसदी से नीचे आ रहे थे। हालांकि मामला अभी इतना गंभीर नहीं है, लेकिन धीरे-धीरे यह संख्या बढ़ती ही जा रही है।
इस बढ़ती संक्रमण दर ने लोगों की चिंता बढ़ा दी है। वही दिल्ली में पिछले 24 घण्टे में कोरोना के 141 नए मामले दर्ज किए गए। जबकि संक्रमण से 1 मरीज की मौत हुई हैं। जिसके बाद कोरोना संक्रमण दर 1.29% दर्ज की गई हैं। वहीं, 9 अप्रैल को कोरोना के 160 नए मामले सामने आए जिनमें कोरोना के किसी भी मरीज की मौत नहीं हुई। इसमें कोरोना संक्रमण (corona infection) दर 1.55% दर्ज की गई।
इसके अलावा 8 अप्रैल को कोरोना के 146 नए मामले सामने आए जबकि एक मरीज की मौत हो गई जबकि कोरोना संक्रमण दर 1.39 फीसदी दर्ज की गई थी। इन आंकड़ों से साफ है कि पिछले कुछ दिनों से संक्रमण दर 1.5 फीसदी के करीब बनी हुई है, इस कड़ी जब दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन ( satyendra jain) से सवाल पूछा तो उन्होंने कहा इस फिलहाल पर इतना ध्यान देने की जरूरत नहीं है।
उन्होंने आगे कहा कि इन दिनों सिर्फ 100-200 मामले ही सामने आ रहे हैं। इस पर हमारी नजर है। अस्पताल में भर्ती से लेकर पॉजिटिविटी रेट तक हम नजर रखे हुए हैं। अस्पताल में भर्ती से लेकर पॉजिटिविटी रेट (positivity rate) तक हम नजर रखे हुए हैं। सत्येंद्र जैन ने कहा कि सकारात्मकता दर को लेकर चीजें काफी बदल गई हैं।
केंद्र सरकार (central government) ने कहा है कि 10% की सकारात्मकता दर होने पर कार्रवाई करने की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कोविड की दर टेस्टिंग पर निर्भर करती है। अभी अस्पताल में बहुत कम मरीज भर्ती है। फिलहाल 49 मरीज भर्ती हैं, लेकिन एक महीने पहले की बात करें तो 100 से ज्यादा लोग भर्ती थे, इस हिसाब से अस्पतालों में स्थिति काफी अच्छी है।