Putrada Ekadashi 2023 : पौष पुत्रदा एकादशी पर आज जरुर करें ये काम, वरना...

Putrada Ekadashi 2023 : आज पौष पुत्रदा एकादशी का व्रत है। शास्त्रों में पौष पुत्रदा एकादशी व्रत को बहुत महत्व दिया गया है। वहीं एकादशी के दिन कुछ कार्यों को करने से पापों का तो नाश होता ही है और साथ ही आपको अक्षय पुण्य की भी प्राप्ति हो जाती है।;

Update: 2023-01-02 06:33 GMT

Putrada Ekadashi 2023 : आज पौष पुत्रदा एकादशी का व्रत है। शास्त्रों में पौष पुत्रदा एकादशी व्रत को बहुत महत्व दिया गया है। वहीं एकादशी के दिन कुछ कार्यों को करने से पापों का तो नाश होता ही है और साथ ही आपको अक्षय पुण्य की भी प्राप्ति हो जाती है। वहीं एकादशी के दिन पुण्य कर्म ही करने चाहिए। क्योंकि आज के दिन पुण्य कर्म करने से अश्वमेध यज्ञ के बराबर पुण्य फल मिलता है। तो आइए जानते हैं एकादशी के दिन क्या कार्य जरुर करने चाहिए।

पौष पुत्रदा एकादशी शुभ मुहूर्त 2023

पुत्रदा एकादशी व्रत तिथि 

02 जनवरी 2023, दिन सोमवार

एकादशी तिथि प्रारंभ 

01 जनवरी शाम 07:14 बजे से

एकादशी तिथि समापन 

02 जनवरी 2023, रात्रि 08:24 बजे

पुत्रदा एकादशी व्रत के दिन करें ये काम

  1. एकादशी के दिन ब्रह्म मुहूर्त में उठकर शौच और स्नानादि दैनिक क्रियाएं करें। साथ ही नींबू आम या जामुन के पत्ते चबाएं और इसके बाद अंगुली से कंठ स्वच्छ करें। आज के दिन वृक्षों से गिरे हुए पत्तों का सेवन करें। पत्ते आदि ना तोड़ें।
  2. स्वच्छ होने के बाद गीता या श्रीविष्णुसहस्त्रनाम आदि ग्रंथों का पाठ करें।
  3. एकादशी के दिन राम रामेति रामेति रमे रामे मनोरमे ।
  4. सहस्रनाम तत्तुल्यं रामनाम वरानने ।। मंत्र का पाठ करें।
  5. 'ॐ नमो भगवते वासुदेवाय' द्वादश अक्षर मंत्र का मन ही मन पाठ करें और भगवान विष्णु का ध्यान करें।
  6. एकादशी के दिन संभव हो तो आप मौन रहें।
  7. एकादशी व्रत में निराहार रहें। अगर आप निराहार नहीं रह सकते हैं तो आप घर पर ही फलों का रस निकालकर उसका सेवन कर सकते हैं। साथ ही आप दूध या जल पर रहकर भी एकादशी व्रत कर सकते हैं।
  8. एकादशी के दिन आपके लिए जितना संभव हो उतना ही दान-पुण्य करें। साथ ही आज के दिन किसी के द्वारा दिये गए अन्न का सेवन ना करें।
  9. एकादशी के दिन रात्रि में कीर्तन-जागरण आदि जरुर करें।
  10. एकादशी पर भगवान विष्णु के सामने पूरी रात्रि एक दीपक जलाएं।
  11. एकादशी के दिन भगवान विष्णु से जाने-अनजाने में हुए सभी प्रकार के पापों की क्षमा-याचना जरुर करें।
  12. इस प्रकार एकादशी व्रत करने से व्रती को उत्तम फल की प्राप्ति होती है और साथ ही भगवान विष्णु की कृपा भी प्राप्त होती है।

(Disclaimer: इस स्टोरी में दी गई सूचनाएं सामान्य मान्यताओं पर आधारित हैं। Haribhoomi.com इनकी पुष्टि नहीं करता है। इन तथ्यों को अमल में लाने से पहले संबधित विशेषज्ञ से संपर्क करें।)

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