2018 में हुई थी घोषणा : यमुनानगर में करोड़ों रुपये से बनेगा नगर निगम का हाईटेक भवन, जगाधरी को भी मिलेगा लाभ
यमुनानगर में पंचायत भवन के पीछे खाली पड़ी जमीन में नगर निगम कार्यालय का नया भवन बनाए जाने को लेकर गतिविधियां शुरू हो गई हैं। आधुनिक सुविधाओं से परिपूर्ण इस भवन पर 28 करोड़ 28 लाख रुपये खर्च किए जाएंगे।;
हरिभूमि न्यूज.यमुनानगर
यमुनानगर में पंचायत भवन के पीछे खाली पड़ी जमीन में नगर निगम कार्यालय का नया भवन बनाए जाने को लेकर गतिविधियां शुरू हो गई हैं। आधुनिक सुविधाओं से परिपूर्ण इस भवन पर 28 करोड़ 28 लाख रुपये खर्च किए जाएंगे। पंचायत भवन के पीछे लगभग 3.87 एकड़ खाली पड़ी जमीन में यह भवन बनाया जाएगा। निगम की ओर से इसका टेंडर जारी कर दिया गया था। लेकिन गोबिंदपुरा के कुछ लोगों ने इसको लेकर कोर्ट में केस दायर कर दिया था। लेकिन अब मेयर मदन चौहान ने मामले में हस्ताक्षेप कर विपक्ष के लोगों को समझाया। जिसके बाद विपक्ष के लोगों द्वारा कुछ शर्तें रख यहां निगम कार्यालय का भवन बनाने के लिए हामी भर दी है। जिसके बाद यहां निगम कार्यालय का नया भवन बनाने को लेकर मेयर मदन चौहान ने अधिकारियों व टेंडर लेने वाली एजेंसी के पदाधिकारियों के साथ दौरा किया। मेयर चौहान ने अधिकारियों को कार्यालय के नए भवन का काम शुरू करने के निर्देश दिए।
उल्लेखनीय है कि साल 2018 में मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने नगर निगम कार्यालय का भवन बनवाने की घोषणा की थी। मार्च 2018 में 28.28 करोड़ का पहला टेंडर लगाया गया था। इसके बाद पंचायत भवन के पीछे निगम कार्यालय के भवन निर्माण के लिए एक सितंबर 2018 को मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने शिलान्यास किया था। नगर निगम कार्यालय के भवन के लिए पंचायत भवन के पीछे खाली पड़ी चार एकड़ जमीन चिह्नित की गई है। यहां करीब तीन एकड़ में तालाब है। इसके बाद तालाब प्राधिकरण ने भी तालाब की जगह में कार्यालय बनाने पर आपत्ति जताई। यह तय हुआ कि यदि तालाब के लिए दूसरी जगह दे दी जाए तो विचार किया जा सकता है। जिसके बाद मामला कोर्ट में चला गया। इसके बाद मेयर मदन चौहान ने हस्ताक्षेप कर दूसरे पक्ष को समझाया। तालाब के लिए पास में ही अलग जगह देने की बात की गई।
जिसके बाद अब यहां पर नगर निगम कार्यालय का भवन बनाने पर सहमति बनी है। नगर निगम की इस जमीन पर कार्यालय बनाने को लेकर मेयर मदन चौहान, एक्सईएन रवि ओबरॉय, एम मुनेश्वर भारद्वाज, जेई कपिल, जेई जय भगवान व पंचकूला की एक एजेंसी के संचालक के साथ मौके पर पहुंचे। यहां उन्होंने जमीन का जायजा लिया। हालांकि कुछ एरिया में दलदल बनी हुई है। मेयर चौहान ने संबंधित एजेंसी संचालक व निगम अधिकारियों को जल्द से जल्द कार्यालय के भवन का निर्माण शुरू करने के निर्देश दिए। मेयर मदन चौहान ने कहा कि नगर निगम कार्यालय के नए भवन के लिए यह सबसे उचित जगह है। दोनों शहरों के बीच में यह जगह है। इससे दोनों शहरों के लोगों और निगम कर्मचारियों को लाभ होगा।
दोनों शहरों का बनेगा संयुक्त कार्यालय
पंचायत भवन के पीछे दोनों शहरों का एक संयुक्त कार्यालय बनेगा। यहां निगम का कार्यालय बनने से दोनों शहरों के लोगों को एक ही छत के नीचे सभी प्रकार की समस्याओं का समाधान करने की सुविधा मिलेगी। इसके अलावा कर्मचारियों को भी जगाधरी से यमुनानगर कार्यालय और यमुनानगर से जगाधरी कार्यालय की दौड़ नहीं लगाने पड़ेगी। पंचायत भवन के पीछे का यह एरिया जगाधरी व यमुनानगर का बीच में है। यहां कार्यालय बनने से दोनों शहरों के बाशिंदों को इसका बहुत लाभ होगा। यह स्थान जगाधरी बस स्टैंड से जहां दो किलोमीटर है, वहीं यमुनानगर बस स्टैंड से भी इसकी दूरी इतनी ही पड़ती है। इसके अलावा नजदीक में ही लघु सचिवालय व अन्य विभागों के कार्यालय भी है। ऐसे में अधिकारियों को भी सरकारी कार्य करवाने में दिक्कत नहीं होगी।
नहीं होगी पार्किंग की दिक्कत, बेसमेंट में होगी पाकिंग
नगर निगम का नया कार्यालय आधुनिक व बहु मंजिला बनाने की योजना है। योजना के अनुसार कार्यालय का भवन चार मंजिला होगा। बेसमेंट में पार्किंग की सुविधा होगी। जबकि तीन मंजिलों पर प्रशासनिक कार्य होंगे। मेयर, सीनियर डिप्टी मेयर, डिप्टी मेयर, आयुक्त, उप निगम आयुक्त व अन्य अधिकारियों के अलग अलग कमरे बनाए जाएंगे। पार्षदों के लिए भी अलग अलग रूम की व्यवस्था की जाएगी। इसके अलावा सभी शाखाओं के अलग अलग ऑफिस बनेंगे। शिकायत लेकर आने वाले लोगों के बैठने की भी व्यवस्था होगी।
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नगर निगम कार्यालय का भवन बनाने के लिए चयनित जमीन का जायजा लेते मेयर मदन चौहान व अन्य अधिकारी
नगर निगम कार्यालय का भवन बनाने को अधिकारियों को निर्देश देते मेयर मदन चौहान