कुरुक्षेत्र की 51 खेल नर्सरियों में तैयार किए जा रहे हैं राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर के खिलाड़ी
सरकार के आदेशानुसार इन खिलाड़ियों को रोजाना सुबह और सायं 5 घंटे प्रशिक्षण देने के साथ-साथ प्रशिक्षक द्वारा हाजिरी भी लेनी सुनिश्चित की गई है। प्रत्येक खिलाड़ी को प्रतिमाह कम से कम 22 दिन हाजिर रहना जरूरी है। प्रत्येक नर्सरी में न्यूनतम तथा अधिकतम 25 खिलाड़ी होंगे, साथ ही प्रतीक्षा सूची में 5 खिलाड़ी रखने का प्रावधान है।;
कुरुक्षेत्र की 51 खेल नर्सरियों में राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर के खिलाड़ी तरासने का काम किया जा रहा है। इन खेल नर्सरियों में अलग-अलग गेम के 765 खिलाड़ियों को प्रशिक्षण देने का काम किया जा रहा है। इनमें से 23 खेल नर्सरियां कुरुक्षेत्र जिले के विभिन्न निजी और सरकारी स्कूलों में चल रही है, जबकि 28 खेल नर्सरियां संबंधित खेल के प्रशिक्षकों को अलॉट की गई है। अहम पहलू यह है कि राज्य सरकार के आदेशानुसार प्रत्येक खिलाड़ी को 1500 रुपए व 2 हजार रुपए आयुवर्ग के हिसाब से छात्रवृति के रुप में खुराक राशि दी जा रही है। यह राशि खिलाड़ियों के बैंक खाते में सीधे खेल विभाग की तरफ से जमा करवाई जा रही है।
हरियाणा खेल विभाग ने प्रदेश के कोने-कोने में छुपी खेल प्रतिभाओं को सामने लाने के साथ-साथ तरासने के लिए खेल नर्सरियां शुरू की। सरकार की इस योजना के अनुसार कुरुक्षेत्र में भी 1 अप्रैल से खेल प्रशिक्षकों और 1 अगस्त से स्कूलों में खेल नर्सरियां शुरू की। इन खेल नर्सरियों में हॉकी, एथलेटिक्स, बॉस्केटबॉल, वालीबॉल सहित अन्य खेलों का प्रशिक्षण दिया जा रहा है। इस समय कुरुक्षेत्र की 51 खेल नर्सरियों में 765 खिलाड़ियों को प्रशिक्षण देने का काम किया जा रहा है। सरकार के आदेशानुसार इन खिलाड़ियों को रोजाना सुबह और सायं 5 घंटे प्रशिक्षण देने के साथ-साथ प्रशिक्षक द्वारा हाजिरी भी लेनी सुनिश्चित की गई है। प्रत्येक खिलाड़ी को प्रतिमाह कम से कम 22 दिन हाजिर रहना जरूरी है। प्रत्येक नर्सरी में न्यूनतम तथा अधिकतम 25 खिलाड़ी होंगे, साथ ही प्रतीक्षा सूची में 5 खिलाड़ी रखने का प्रावधान है।
जिला खेल एवं युवा कार्यक्रम अधिकारी अमरजीत सिंह ने कहा कि प्रत्येक नर्सरी का कार्यकाल 1 अप्रैल से लेकर 31 जनवरी तक होगा। खेल नर्सरियों केवल उन्हीं खेलों की खोली गई है, जो खेल ओलम्पिक, एशियन और कॉमनवेल्थ गेम में शामिल है। इन खेल नर्सरियों में 8 से 19 वर्ष आयुवर्ग के खिलाड़ियों का चयन किया गया है। उन्होंने कहा कि सभी खिलाड़ियों को प्रशिक्षित करने का काम किया जा रहा है और समय-समय पर खेल नर्सरियों की चेकिंग भी की जाती है ताकि जहां कहीं भी दिक्कतें व परेशानियां, उन्हें समय रहते दूर किया जा सके। इन खेल नर्सरियों से ही राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर के खिलाड़ी तैयार होंगे।
सरकार की तरफ से प्रत्येक खिलाड़ी को दी जा रही है 1500 व 2000 हजार रुपए की राशि
खेल विभाग की तरफ से खेल नर्सरी में प्रशिक्षण ग्रहण कर रहे खिलाड़ियों को प्रतिमाह कम से कम 22 दिन हाजिर होने पर 8 से 14 वर्ष आयुवर्ग के लिए 1500 रुपए और 15 से 19 वर्ष आयुवर्ग के खिलाड़ियों को 2 हजार रुपए प्रतिमाह की दर से छात्रवृति के रुप में खुराक राशि दी जा रही है।
कुरुक्षेत्र के 23 स्कूलों व 28 प्रशिक्षकों के पास है खेल नर्सरी
खेल विभाग की तरफ से ग्रामीण आंचल से लेकर शहरी क्षेत्र में खिलाड़ियों की पौध तैयार करने के उदेश्य से ही कुरुक्षेत्र जिले में निजी और सरकारी 23 स्कूलों में तथा 28 प्रशिक्षकों को खेल नर्सरी अलॉट की है। इस प्रत्येक खेल नर्सरी में 25 खिलाड़ी हैं और इन सबकों निशुल्क प्रशिक्षण देने का काम किया जा रहा है।
खिलाड़ियों को 2 सत्रों में दिया जा रहा है प्रशिक्षण
कुरुक्षेत्र की सभी खेल नर्सरियों में राज्य सरकार के आदेशानुसार सुबह और सायं के 2 सत्रों में प्रशिक्षण देने का काम किया जा रहा है। इन खेल नर्सरियों में प्रात: कालीन सेशन में सुबह 6.30 से 9 बजे के बीच 2 घंटे तथा सायं कालीन सत्र में सायं 3 बजे से लेकर 8 बजे के बीच 3 घंटे का प्रशिक्षण दिया जा रहा है। इन खिलाड़ियों की बकायदा प्रशिक्षक द्वारा हाजिरी ली जा रही है।