चौटाला राज में लगे 19 HCS व दो HPS अधिकारियाें की सेवाएं समाप्त करने के लिए खट‍्टर सरकार ने हाईकोर्ट में दिया हलफिया बयान

प्रदेश सरकार ने कोर्ट मान लिया कि 2004 की एचसीएस चयन की भर्ती प्रक्रिया अनियमितताओं से भरी पड़ी है, लेकिन सरकार इस बात का जवाब गोल कर गई कि 2016 में 102 में से 38 एचसीएस को ज्वाइनिंग के लिए वह क्यों राजी हुई थी।;

Update: 2021-12-03 05:52 GMT

हरियाणा सरकार 2004 में चयनित 19 एचसीएस व दो एचपीएस अधिकारियों को नौकरी पर बरकरार रखने की बजाय उनकी सेवाएं खत्म करेगी। पूर्व मुख्यमंत्री ओमप्रकाश चौटाला के राज में चयनित 102 एचसीएस अधिकारियों में से 38 को मुख्यमंत्री मनोहर लाल की सरकार ने ज्वाइनिंग दी थी। तब 23 एचसीएस व एचसीएस एलाइड सेवा के अधिकारियों ने ज्वाइन किया था, लेकिन अब 21 ही कार्यरत हैं। बाकी अधिकारियों ने अलग-अलग कारणों से प्रदेश सरकार की सेवाओं को ज्वाइन नहीं किया था।

हरियाणा सरकार 19 एचसीएस व दो एचपीएस अधिकारियों को नौकरी से निकालने के साथ ही उन 22 एचसीएस अधिकारियों को भी ज्वाइनिंग नहीं कराएगी, जिन्हें पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट में केस दायर कर 38 एचसीएस की तर्ज पर बाकी बचे 64 एचसीएस अधिकारियों को भी ज्वाइनिंग देने का दबाव प्रदेश सरकार पर बना रखा है। प्रदेश सरकार ने हाई कोर्ट में हलफिया बयान देकर अपने इरादे साफ कर दिए हैं।

हरियाणा सरकार की ओर से मुख्य सचिव ने हाई कोर्ट में हलफिया बयान दिया। 30 नवंबर को यह हलफनामा हाई कोर्ट में दायर किया गया है। उस समय मुख्य सचिव के पद पर विजयवर्धन थे। हाई कोर्ट ने इस हलफनामे को रिकार्ड पर ले लिया है। प्रदेश सरकार ने कोर्ट मान लिया कि 2004 की एचसीएस चयन की भर्ती प्रक्रिया अनियमितताओं से भरी पड़ी है, लेकिन सरकार इस बात का जवाब गोल कर गई कि 2016 में 102 में से 38 एचसीएस को ज्वाइनिंग के लिए वह क्यों राजी हुई थी।

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