23 नवंबर को देवोत्थान एकादशी से शुरू होगा शादियों का धूम धड़ाका
- 15 दिसंबर तक बजेगी शादी की शहनाई, कुल 12 दिन शुभ मुहूर्त
- दीपावली के बाद अब शादी सीजन से व्यापारियों पर होगी धन वर्षा
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Haryana : दीपावली त्योहार सीजन के बाद अब व्यापारियों के लिए शादियों का सीजन शुरू होने जा रहा है। ऐसे में व्यापारियों को दीपावली की तरह ही इस विवाह सीजन में भी जमकर धन वर्षा होने की उम्मीद है। विवाह सीजन को देखते हुए दुकानदारों ने तैयारियां भी शुरू कर दी, ताकि दुकान पर आने वाला कोई भी ग्राहक खाली न जाए। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार कार्तिक मास में देवउठनी एकादशी तिथि को महत्वपूर्ण माना जाता है और इसी दिन विवाह का लग्न शुरू होता है। इस बार देवउठनी एकादशी 23 नवंबर को है और 24 नवंबर को तुलसी विवाह होगा, जिसके चलते दीवाली के बाद विवाह के लिए शुभ मुहूर्त शुरू हो जाएंगे और नवंबर तथा दिसंबर माह में फिर से शहनाई बजेगी।
23 नवंबर के दिन श्री हरि अपनी योग निंद्रा से बाहर आएंगे। इसके साथ ही पिछले पांच महीनों से थमी शहनाइयां फिर से गूंजेंगी। नवंबर के शुरूआती 22 दिन तक कोई भी विवाह मुहूर्त नहीं है लेकिन 23 से 30 नवंबर तक यानी आठ दिनों में विवाह के लिए छह शुभ मुहूर्त हैं। इनमें सबसे विशेष 23 नवंबर है, क्योंकि इस दिन देव उठनी एकादशी है और यह तिथि बहुत ही मान्यताओं से भरपूर है। इसके बाद दिसंबर में भी शुभ मुहूर्त होंगे लेकिन 16 दिसंबर से 14 जनवरी 2024 तक धनु राशि के सूर्य के खरमास के कारण विवाह समारोह बंद रहेंगे।
देव उठनी एकादशी विवाह मुहूर्त को लेकर एडवांस बुकिंग शुरू
23 नवंबर से देवोत्थान एकादशी के साथ ही शादियों का धूम-धड़ाका शुरू हो जाएगा। इस दौरान जिले में ग्रामीण व शहरी क्षेत्र में सैकडों जोड़े शादी के पवित्र बंधन में बंधेंगे। इसके लिए होटल, बैंक्वेट हाल को लेकर एडवांस बुकिंग की जा रही है। टैंट हाउस, हलवाई, पंडितों, ब्यूटी पार्लर संचालकों आदि को भी शादी को लेकर एडवांस दिए जा रहे हैं। वहीं बाजार में ज्वैलर्स व कपड़े, फर्नीचर एवं इलेक्ट्रोनिक्स दुकानदारों की खूब चांदी होने की उम्मीद है।
ग्राहकों की पसंद के लिए कर रहे स्पेशल तैयारियां
बाजार स्थित हरि एम्पोरियम के मालिक ने बताया कि विवाह समारोह को देखते हुए खास तैयारियां की जा रही हैं। समारोह को लेकर खास तरह के लहंगे, लांचे, सूट के अलावा एम्ब्रोयडरी, कॉटन, सिल्क सहित कई तरह की वैरायटियां ग्राहकाें के लिए उपलब्ध हैं। इसके अलावा गाउन की विवाह समारोह के लिए विशेष डिमांड रहती हैं। ग्राहकों की पसंद अनुसार कपड़ों की स्पेशल वैरायटी मंगवाई गई हैं।
चार माह बाद 23 नवंबर से शुरू होंगे विवाह लग्न
जयंती देवी मंदिर के पुजारी नवीन शास्त्री ने बताया कि 2023 में जुलाई, अगस्त, सितंबर, अक्टूबर माह में विवाह कार्य वर्जित रहे हैं। इसका कारण यह था कि देवशयनी एकादशी से भगवान विष्णु चार माह के लिए योग निंद्रा में चले गए थे। भगवान विष्णु दीपावली के बाद देवउठनी एकादशी के दिन योग निंद्रा का त्याग करते हैं। जिसके बाद फिर से विवाह के शुभ मांगलिक कार्यों की शुरूआत होती है। देवउठनी एकादशी तिथि के अनुसार इसे 23 नवंबर को मनाया जाएगा और 24 नवंबर को तुलसी विवाह होगा। इस दिन भगवान विष्णु का योग निंद्रा से बाहर आने का अवसर है और इसके बाद शुभ और मांगलिक कार्य शुरू होते हैं।