Yamunanagar : विदेश भेजने के नाम पर 2 लोगों से ठगे लाखों

दो लोगों को विदेश भेजने के नाम पर उनसे दो लाख 60 हजार रुपये ठग लिए। पुलिस ने मामले की जांच के बाद तीन आरोपियों के खिलाफ धोखाधड़ी का केस दर्ज कर कार्रवाई शुरू कर दी।;

Update: 2023-06-11 12:40 GMT

Yamunanagar : अलग-अलग स्थानों पर दो लोगों को विदेश भेजने के नाम पर उनसे दो लाख 60 हजार रुपये ठग लिए। पुलिस ने मामले की जांच के बाद तीन आरोपियों  के खिलाफ धोखाधड़ी (Fraud) का केस दर्ज कर कार्रवाई शुरू कर दी।

गांव गुमथला निवासी सुरजीत सिंह ने बताया कि वह परिवार सहित कनाडा जाना चाहता था। यह बात उनके जानकार मनप्रीत सिंह को मालूम थी। एक दिन मनप्रीत व एजूवाईज इमीग्रेशन कंसलटेंट चंडीगढ़ के एमडी आदित्य कुमार मेरे घर पर आए और कहा कि वह उसे परिवार सहित कनाडा भेज देंगे। जिस पर करीब 22 लाख रुपये खर्च आएगा। यह राशि उन्हें बाद में देनी है। उनकी बातों में आकर उन्होंने सारे कागजात उन्हें दे दिए। लेकिन उसके बाद आदित्य ने उसे कहा कि उसे दो लाख 20 हजार रुपये एडवांस देने होंगे। इसके बाद यह प्रक्रिया आगे चलेगी। विश्वास कर उसने यह राशि उन्हें दे दी, जिसके प्रमाण उनके पास है। पैसे लेने के बाद आरोपितों ने उसे विदेश नहीं भेजा। जब उसने अपने पैसे वापिस मांगे तो वह टाल मटोल करने लगे। एक दिन उसने आदित्य को फोन कर अपने पैसे वापस मांगे, मगर उसने पैसे देने से मना कर दिया। उसने परेशान होकर मामले की सूचना पुलिस को दी। पुलिस ने मामले की जांच के बाद दोनों आरोपियों के खिलाफ धोखाधड़ी के आरोप में केस दर्ज कर कार्रवाई शुरू कर दी।

जेबीटी टीचर से ठगे करीब 50 हजार

गांव नाहरपुर निवासी नीरज कुमार ने बताया कि वह जेबीटी टीचर है। वह विदेश जाना चाहता था। जिसके लिए उसने स्काई हाई अबरोड कंसलटेंट प्राईवेट लिमिटेड चंडीगढ़ से संपर्क किया तो उन्होंने विदेश भेजने से पहले उनके यहां रजिस्ट्रेशन करवाने को कहा। इसके एवज में उससे 11 हजार 800 रुपये लिए गए। उसके बाद स्पोंसर मंगवाने के लिए 29800 रुपये फीस ली गई। कुछ दिनों बाद उसे चंडीगढ़ कार्यालय बुलाया और उसे एक फर्जी स्पोंसर दिखाई। जब उसने फोटो कॉपी मांगी तो वह उसे देने से मना कर दिया गया। लेकिन लंबे समय तक जब उसका वीजा नहीं आया तो कंपनी टालमटोल करने लगी। बार-बार फोन करने पर उसे एक बार फिर से चंडीगढ़ बुलाया गया और बताया कि उसका वीजा रिफ्यूज आ गया है। लेकिन मुझे कोई कागजात नहीं दिखाए गए। उसे विश्वास दिलाया गया कि वह उसके वीजा के लिए दोबारा रिअपील करेंगे और इस बार कनेडा से उसकी फाइल लगवाएंगे। जिसके लिए एक बार फिर से उससे 6044 रुपये लिए गए। कुछ दिनों बाद उसे फिर से कहा गया कि उसका वीजा रिफ्यूज हो गया, लेकिन उसकी आईडीए पासवर्ड व अन्य कोई कागजात उसे नहीं दिखाया गया। उसने पैसे वापिस मांगे तो उसे जान से मारने की धमकी दी गई। उसने मामले की सूचना पुलिस को दी। पुलिस ने मामले की जांच के बाद केस दर्ज कर कार्रवाई शुरू कर दी।

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