बसपा सुप्रीमो मायावती ने गैर मान्यता प्राप्त मदरसों के सर्वे पर उठाए सवाल, बीजेपी के साथ कांग्रेस को भी घेरा

बसपा सुप्रीमो मायावती ने आज सिलसिलेवार ट्वीट करके योगी सरकार पर निशाना साधा। साथ ही, कांग्रेस पर भी बड़ा हमला बोला। पढ़िये मायावती के आरोप...;

Update: 2022-10-26 08:05 GMT

बहुजन समाज पार्टी (Bahujan Samaj Party) की सुप्रीमो मायावती (Mayawati) ने यूपी में गैर मान्‍यता प्राप्‍त मदरसों के सर्वे (Survey of Unrecognized Madrasas) को लेकर फिर से योगी सरकार (Yogi Government) पर हमला बोला है। उन्होंने कहा है कि गैर सरकारी मदरसें गरीब को तालीम देने में लगे हैं, लेकिन सरकार इसमें क्यों दखल दे रही है। यही नहीं, बसपा सुप्रीमो ने बीजेपी (BJP) के साथ कांग्रेस (Congress) पर भी तीखा प्रहार किया है।

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक बसपा सुप्रीमो मायावती ने आज सिलसिलेवार ट्वीट करके योगी सरकार पर निशाना साधा। उन्होंने लिखा, 'यूपी सरकार द्वारा विशेष टीम गठित करके लोगों के चन्दों पर आश्रित प्राइवेट मदरसों के बहुचर्चित सर्वे का काम पूरा, जिसके अनुसार 7,500 से अधिक 'गैर-मान्यता प्राप्त' मदरसे गरीब बच्चों को तालीम देने में लगे हैं। ये गैरसरकारी मदरसे सरकार पर बोझ नहीं बनना चाहते तो फिर इनमें दखल क्यों?

उन्होंने आगे लिखा, 'सरकारी मदरसा बोर्ड के मदरसों के टीचर व स्टाफ के वेतन आदि के लिए बजट प्रावधान हेतु खास तौर से सर्वे कराया जाता है, तो क्या यूपी सरकार इन प्राइवेट मदरसों को अनुदान सूची में शामिल करके उन्हें सरकारी मदरसा बनाएगी? बीएसपी सरकार ने 100 मदरसों को यूपी बोर्ड में शामिल किया था।'

कांग्रेस पर भी साधा निशाना

बसपा प्रमुख मायावती ने कांग्रेस पर भी निशाना साधा। उन्होंने कहा कि पहले कांग्रेस सरकार ने 'मदरसा आधुनिकीकरण' के नाम पर वहां के छात्रों को उनकी पसंद की उच्च शिक्षा सुनिश्चित करने के बजाय उन्हें ड्राइविंग, मैकेनिक, कारपेन्टर आदि की ट्रेनिंग के जरिए छात्रों की तालीम और उन मदरसों का भी अपमान किया। उन्होंने कहा कि अब आगे देखिए बीजेपी सरकार में उनका क्या होता है?

सरकारी शिक्षा व्यवस्था को बदतर बताया

मायावती ने यूपी के साथ ही देश के अन्य सभी राज्यों में भी सरकारी स्कूलों में शिक्षा व्यवस्था को बदतर बताया। उन्होंने कहा कि वैसे यूपी व देश के अन्य सभी राज्यों में भी सरकारी स्कूलों के साथ-साथ पूरी शिक्षा व्यवस्था के हालात जो लगातार बदतर होते चले जा रहे हैं, वह किसी से भी छिपा नहीं है, फिर भी सरकारें लापरवाह व उदासीन क्या इसलिए हैं कि वहां ज्यादातर गरीब व कमजोर वर्गों के बच्चे ही पढ़ते हैं?

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