Mulayam Singh Yadav Death: सिर्फ पुरुष ही नहीं, मुलायम परिवार की ये महिलाएं भी हैं राजनीति में एक्टिव

मुलायम सिंह यादव का आज निधन हो गया। पुरुषों के अलावा उनके परिवार की कई महिलाएं भी राजनीति में खासी सक्रिय हैं।;

Update: 2022-10-10 07:44 GMT

मुलायम सिंह यादव (Mulayam Singh Yadav) का आज गुरुग्राम (Gurugram) के मेदांता हॉस्पिटल (Medanta Hospital) में निधन (death) हो गया। मुलायम सिंह के परिवार को भारतीय राजनीति का सबसे बड़ा कुनबा माना जाता है। इनके परिवार के 20 से ज्यादा सदस्य राजनीति में सक्रिय हैं। सिर्फ पुरुष ही नहीं, बल्कि यादव परिवार की कई महिलाओं ने राजनीति में झंडे गाढ़े हैं। आज हम आपको यादव परिवार की कुछ ऐसी ही महिलाओं के बारे में बताने वाले हैं, जिन्होंने घर की दहलीज से निकल कर राजनीति में भी अपना लोहा मनवाया है।

1- डिंपल यादव


डिंपल यादव मुलायम के बेटे और यूपी के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव की पत्नी हैं। 24 नवंबर 1999 को इनकी शादी सपा सुप्रीमो अखिलेश यादव से हुई। शादी के बाद शुरूआती दिनों में ये राजनीति से दूर ही रहीं। 2009 के लोकसभा चुनाव में अखिलेश फिरोजाबाद और कन्नौज  दो सीटों से चुनाव जीते थे। बाद में उन्होंने फिरोजाबाद सीट छोड़ दी, जिस पर उपचुनाव हुआ। सपा ने डिंपल को इस चुनाव में उतारा, लेकिन वे कांग्रेस के राज बब्बर से चुनाव हार गई। इसके बाद जब 2012 में अखिलेश मुख्यमंत्री बने तो उन्हें कन्नौज की सीट भी छोड़नी पड़ी। जिसके बाद उपचुनाव में यहां से डिंपल को निर्विरोध ही सांसद चुन लिया गया। 2014 के लोकसभा चुनाव में भी ये कन्नौज से सांसद चुनी गईं। अखिलेश के मुख्यमंत्री रहने के दौरान डिंपल अक्सर सार्वजनिक मंचों पर नजर आती रही हैं।

2- अपर्णा यादव


अपर्णा यादव मुलायम सिंह यादव के दूसरे बेटे प्रतीक यादव की पत्नी हैं। 4 दिसंबर 2011 को इनकी शादी प्रतीक से हुई। प्रतीक का तो राजनीति से दूर-दूर तक कोई वास्ता नहीं हैं, लेकिन अपर्णा राजनीति में पूरी तरह से सक्रिय हैं। 2017 से पहले अपर्णा राजनीति में बहुत ज्यादा सक्रिय नहीं थीं। 2017 के चुनाव में पहली बार सपा ने इनको लखनऊ कैंट विधानसभा सीट से चुनाव लड़ाया। इस चुनाव में ये हार गई। इसके बाद ये राजनीति में सक्रिय रहने लगीं। अक्सर ये समाजवादी पार्टी के कार्यक्रमों में भी दिखने लगीं। 2022 के विधानसभा चुनाव से ठीक पहले अपर्णा ने पाला बदला और भाजपा में शामिल हो गईं। हालांकि भाजपा में जानें के बाद उन्हें टिकट नहीं मिला। 

3- संध्या यादव


संध्या यादव मुलायम सिंह की भतीजी हैं। ये मुलायम के भाई अभयराम सिंह यादव की बेटी और पूर्व सांसद धर्मेन्द्र यादव की बहन हैं। इनकी शादी मैनपुरी निवासी अनुजेश यादव से हुई है। ये भी राजनीति में खासी सक्रिय हैं और मैनपुरी की जिला पंचायत अध्यक्ष रही हैं। हालांकि पिछले पंचायत चुनाव से पहले ये और इनके पति समाजवादी पार्टी से नाराज होकर भाजपा में शामिल हो गये थे। इसकी वजह इन्होंने बताई थी कि सपा के नेता ही जिला पंचायत में इनके खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव लाए थे और सैफई परिवार ने उस दौरान इनकी कोई मदद नहीं की। भाजपा के समर्थन से इन्होंने सपा के खिलाफ जिला पंचायत का चुनाव भी लड़ा था। हालांकि इस चुनाव में इनको सपा प्रत्याशी ने हरा दिया था।

4- सरला यादव


सरला यादव मुलायम सिंह के सबसे छोटे भाई शिवपाल सिंह यादव की पत्नी हैं। बताया जाता है कि बचपन में अखिलेश अपनी मां से ज्यादा चाची सरला यादव के पास रहे हैं। इनके पति शिवपाल तो बड़े नेता हैं हीं, ये भी इटावा जिला सहकारी बैंक की निदेशक रहीं हैं। इस पद पर अब इनके बेटे अंकुर उर्फ आदित्य यादव का कब्ज़ा है। हालांकि सरला को सिर्फ यादव परिवार के पारिवारिक कार्यक्रमों में देखा जाता है। किसी राजनीतिक या सार्वजनिक मंच पर ये नजर नहीं आती।

5- मृदुला यादव


मृदुला यादव रिश्ते में मुलायम सिंह की भतीजे की बहू हैं। ये सैफई महोत्सव के संस्थापक रणवीर यादव की पत्नी और मैनपुरी के पूर्व सांसद तेज प्रताप यादव की मां हैं। मृदुला इस समय मुलायम सिंह के गृह क्षेत्र सैफई की ब्लॉक प्रमुख हैं। इससे पहले भी ये इस पद पर रहीं है, ये इनका दूसरा कार्यकाल है। मृदुला बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू यादव की समधन भी लगती है। इनके बेटे तेजप्रताप की शादी लालू यादव की बेटी राजलक्ष्मी से हुई है।

6- प्रेमलता यादव

प्रेमलता यादव मुलायम सिंह के छोटे भाई राजपाल यादव की पत्नी हैं। राजपाल यादव कभी भी कोई चुनाव नहीं लड़े हैं, लेकिन प्रेमलता दो बार इटावा की जिला पंचायत अध्यक्ष रहीं हैं। बाद में अपने बेटे अंशुल यादव के लिए इन्होंने अपनी सीट छोड़ दी। अब इनके बेटे भी दो बार से इटावा के जिला पंचायत अध्यक्ष हैं। प्रेमलता राजनीति में एंट्री करने वाली यादव परिवार की पहली महिला हैं।  

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