कोरोना मरीजों को मोबाइल रखने पर लगा बैन, इस आइसोलेशन वार्ड में नहीं यूज कर सकेंगे फोन

आइसोलेशन वॉर्ड (Isolation Ward) के कुछ विभाग में संक्रमित मरीजों को मोबाइल रखने पर बैन लगा दिया गया।;

Update: 2020-05-24 08:19 GMT

उत्तर प्रदेश के योगी सरकार ने एक नयी पहल की शुरुआत की है। अब कोरोना के शिकार मरीजों को मोबाइल फोन रखने पर बैन लगा दिया गया है। स्वास्थ्य विभाग ने एक आदेश जारी किया है, जिसमें कहा गया कि एल-2 और एल-3 अस्पतालों में भर्ती संक्रमित मरीज अब मोबाइल फोन का इस्तेमाल नहीं कर सकेंगे।

राज्य सरकार ने इस पर रोक लगा दी है। इस जारी आदेश को सभी कोरोना मेडिकल कॉलेजों, सरकारी और प्राइवेट अस्पतालों को भेज दिए गए हैं। चिकित्सा शिक्षा महानिदेशक डॉ. के के गुप्ता ने बताया कि मोबाइल (Mobile Ban) का इस्तेमाल करने से संक्रमण फैलता है।

इसके चलते गंभीर हालात वाले संक्रमित मरीजों को मोबाइल इस्तेमाल करने पर बैन लगा दिया। एल-2 और एल-3 के आइसोलेशन वार्ड में गंभीर संक्रमित मरीजों का इलाज किया जाता है। हालांकि मोबाइल फोन बैन के तहत कोविड-19 के अस्पतालों के इंचार्ज को दो मोबाइल फोन दिए जाएंगे।

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इन दो मोबाइल फोन के जरिए मरीज अपने परिजनों या रिश्तेदारों से बात कर सकते हैं। इन दोनों मोबाइल फोन की सेवा 24 घंटे वार्ड (Isolation Ward) में उपलब्ध रहेगी। मोबाइन फोन पर बैन के दौरान कई लोगों ने इसका विरोध जाहिर किया।

लोगों का कहना है कि अचानक दो महीने बाद मोबाइल फोन के इस्तेमाल पर बैन क्यों लगाया गया। वहीं, कुछ व्यक्ति का कहना है कि यह संक्रमण रोकने के लिए नहीं बल्कि वार्ड की अव्यवस्थाओं की तस्वीर बाहर वायरल न हो सकें, इसलिए फोन पर बैन लगाया गया।
 


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