Devshayani Ekadashi 2019 : देवशयनी एकादशी व्रत कथा

Devshayani Ekadashi 2019/देवशयनी एकादशी 2019
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देवशयनी एकादशी व्रत कथा (Devshayani ekadashi Vrat Katha)
पौराणिक कथा के अनुसार एक बार अर्जुन ने श्री कृष्ण से पूछा - "हे श्रीकृष्ण! आषाढ़ माह के शुक्ल पक्ष की एकादशी व्रत क्या है? हे अर्जुन ! यही प्रश्न एक बार नारद जी ने ब्रह्मा जी से पूछा था। तब ब्राह्मा जी ने नारद से कहा था कि हे नारद तुमने पूरी मानव जाति के उत्थान का प्रश्न पूछा है। तो सुनों नारद एकादशी का व्रत सभी व्रतों में सबसे उत्तम व्रत माना गया है।
इस व्रत से मनुष्य सभी पापों से मुक्त हो जाता है। इसलिए आज में आप तुम्हें देवशयनी एकादशी व्रत की कथा सुनाता हुं। एक राज्य में मान्धाता नाम का सूर्यवंशी राजा राज करता था । वह राजा सत्यवादी, महान तपस्वी और चक्रवर्ती सभी गुणों से परिपूर्ण था। वह अपनी प्रजा का पालन एक संतान की तरह करता था। उसका राज्य काफी खुशहाल राज्य था।
उसके राज्य में किसी भी तरह की कोई भी प्राकृतिक आपदा नही आती थी। लेकिन एक बार सभी देवता उससे किसी बात पर नाराज हो गए । जिसके बाद उसके राज्य में भारी आकाल पड़ गया । प्रजा के पास खाने के लिए कुछ भी नहीं रह गया था। राज्य में सभी धार्मिक काम भी बंद हो गए। आकाल से पीड़ित प्रजा राजा के पास सहायता के लिए गई और प्रार्थना करने लगी कि 'हे राजन!
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