तो इस वजह से बच्चे और गर्भवती महिलाएं खाती है सलेटी, जानिए सलेटी खाने के नुकसान
बचपन में अक्सर सभी बच्चे कभी न कभी सलेटी या चॉक जरुर खाते हैं, लेकिन कुछ इस आदत से को समय के साथ छोड़े देते हैं, तो कुछ लोगों की ये आदत बहुत ज्यादा बढ़ जाती है, लेकिन क्या आप जानते हैं कि क्यों बच्चे सलेटी या चॉक क्यों खाते हैं और इसका आपकी सेहत को कैसे प्रभावित करती है, अगर नहीं, तो आज हम आपको बच्चों के सलेटी खाने की वजह और इसके नुकसान के बारे में बता रहे हैं।;
सलेटी सिर्फ बच्चे ही नहीं कई गर्भवती महिलाएं भी गर्भावास्था के दौरान सलेटी या चॉक खाने की इच्छा होने की बात मानती हैं। जो उनके साथ उनके शिशु के लिए भी घातक साबित हो सकता है। ऐसे मे आइए जानते हैं सलेटी या चॉक खाने की वजह और इसके सेहत हानिकारक प्रभाव...
क्यों खाते हैं लोग सलेटी या चॉक (Why Do People Eat Slate Pencils And Chalk)
सलेटी यानि स्लेट पेंसिल या चॉक कैल्शियम कार्बोनेट से बनाई जाती है। शरीर में कैल्शियम और आयरन की कमी (रक्त की कमी) होने पर लोग न चाहते हुए भी सलेटी या चॉक की तरफ आकर्षित होकर धीरे-धीरे खाने लगते हैं। लेकिन रोजाना या अधिक मात्रा में सलेटी या चॉक का सेवन करने से किडनी में पथरी होने के खतरा बढ़ जाता है।
सलेटी (स्लेट पेंसिल) कैसे बनाई जाती है (How to Make Slate Pencils)
सलेटी (स्लेट पेंसिल) बनाने की सामग्री :
प्लास्टर ऑफ पेरिस
गोंद
सोडियम सिलिकेट
खड़िया मिटटी
सलेटी (स्लेट पेंसिल) बनाने का तरीका
1.सलेटी (स्लेट पेंसिल) बनाने के लिए सबसे पहले प्लास्टर ऑफ़ पेरिस और खड़िया मिटटी को ग्राइंडर मैं पीस कर छलनी से छान कर अलग कर लें।
2.इसके बाद एक बड़े बर्तन में गर्म पानी में गोंद को 1-2 घंटे के लिए भिगोएं।
3.अब पानी में घुले हुए गोंद को छलनी से छान लें और उसमें सोडियम सिलिकेट घोल को दूसरे घोल में मिलाते हुए एक आटे जैसा बना लें।
4.इसके बाद स्लेट पेंसिल बनाने की हाथ से चलने वाली एक्सट्रूजन मशीन में सलेटी वाला मिश्रण डालें और हाथ से दबाते हुए सलेटी का आकार दें और अलग निकाल कर उन्हें सूखने के लिए रख दें।
सलेटी (स्लेट पेंसिल) खाने के नुकसान (Eating Slate Pencils Disadvantages)
भारत के ग्रामीण क्षेत्रों में सलेटी (स्लेट पेंसिल) का बहुतायत में बच्चों को शब्द ज्ञान और शिक्षित करने के लिए उपयोग होता है। ऐसे में अगर आपका बच्चा भी सलेटी खाता है, जो ये उसके नुकसान...
1. अगर आपका बच्चा रोजाना 3-4 सलेटी खाता है, तो इससे आपके बच्चे का पेट खराब होने की अशंका बढ़ जाती है।
2. अगर आप सलेटी या चॉक का रोजाना बार-बार यानि अनियंत्रित मात्रा में खाते हैं, तो इससे आपके पेट में सोडियम सिलिकेट के जमा होने से किडनी की पथरी बनने की समस्या हो सकती है।
3. सलेटी (स्लेट पेंसिल) या चॉक का अधिक मात्रा में सेवन करने यानि सोडियम सिलिकेट को चबाने से मुंह में घाव होना शुरु हो जाता है। जिसके समय पर इलाज न होने पर उससे ब्लीडिंग तक हो सकती है।
4. लगातार और लंबे समय तक सलेटी (स्लेट पेंसिल) खाने से बच्चे और बड़े लोगों की भूख धीरे-धीरे कम होने लगती है। जिससे शरीर में कमजोरी आने लगती है और थका- थका रहता है।
5. सलेटी (स्लेट पेंसिल) या चॉक का लगातार सेवन करने से मानसिक विकास में बाधा उत्पन्न होने लगती है, बच्चे की एकाग्रता और स्मरण शक्ति पर बुरा प्रभाव पड़ता है।
गर्भावास्था में सलेटी खाना नुकसानदायक है या नहीं ? (Eating Slate Pencil in Pregnancy is Good)
गर्भावास्था में गर्भवती महिलाओं का बार-बार सलेटी (स्लेट पेंसिल) या चॉक खाना उनके साथ उनके शिशु के लिए बेहद खतरनाक हो सकता है। आमतौर पर सलेटी खाने की आदत को पिका विकार कहा जाता है। जिसमें बच्चे या बड़े को गैर-पोषक पदार्थों (जैसे सलेटी, कोयला, मिट्टी, चाक, कागज,चॉक) आदि खाने की तलब लगती है। अगर आप भी बार-बार सलेटी खाने की इच्छा को महसूस करती हैं, तो इसके बारे में समय से डॉक्टर से सलाह लें।
कैसे रोकें सलेटी खाने की आदत (How to Stop Eating Slate Pencil Habit)
अगर आप दिन में 3-4 बार से अधिक सलेटी या चॉक का सेवन करते हैं, तो ऐसे में आप डॉक्टर की मदद से कैल्शियम और आयरन से भरपूर खाद्य पदार्थों को अपनी डाइट में शामिल करें। आप इसमें ताजा फल और हरी सब्जियों के अलावा कुछ सप्लीमेंट्स का भी सेवन कर सकते हैं।
और पढ़े: Haryana News | Chhattisgarh News | MP News | Aaj Ka Rashifal | Jokes | Haryana Video News | Haryana News App