AAP ने मोदी सरकार के पेट्रोल-डीजल बढ़ाने पर कसा तंज, जानें 2014 में कितनी लगती थी एक्साइज ड्यूटी

दुनिया में कच्चे तेल की कीमत कम हो रही है लेकिन केंद्र की मोदी सरकार ने एक्साइज ड्यूटी पर बढ़ोतरी की है। इसको लेकर आप पार्टी ने मोदी सरकार पर तंज सका है।;

Update: 2020-03-14 10:13 GMT

दुनिया में कच्चे तेल की कीमत कम हो रही है लेकिन केंद्र की मोदी सरकार ने एक्साइज ड्यूटी पर बढ़ोतरी की है। इसको लेकर आम आदमी पार्टी ने मोदी सरकार पर तंज कसा है।

आम आदमी पार्टी ने निशाना साधते हुए कहा कि जब 2014 में भाजपा की सरकार बनी थी। तब डीजल पर एक्साइज ड्यूटी 3.56 रुपए थी। आज 2020 में एक्साइड ड्यूटी 18 रुपेय से ज्यादा हो गई है।

ये है 2014 और 2020 की एक्साइज ड्यूटी़

2014 में एक्साइज ड्यूटी

डीजल - 3.56 पैसे

पेट्रोल - 9.40 पैसे

2020 में एक्साइज ड्यूटी

डीजल - 18.80

पेट्रोल - 22.90

सरकार ने घटते वैश्विक कच्चे तेल की कीमत का लाभ उठाते हुए राजस्व संग्रह को बढ़ावा देने के लिए पेट्रोल और डीजल पर उत्पाद शुल्क में 3 रुपये की बढ़ोतरी की है।

केंद्रीय अप्रत्यक्ष कर और सीमा शुल्क बोर्ड ने पेट्रोल और डीजल पर एक्साइज ड्यूटी पर अतिरिक्त उत्पाद शुल्क शनिवार ले गया है। इसका मतलब पेट्रोल पर उत्पाद शुल्क 19.98 से 22.98 और डीजल पर 15.83 से 18.83 हो गया है।

जानें क्या है एक्साइज ड्यूटी

कहते हैं कि एक्साइज ड्यूटी एक तरह का अप्रत्यक्ष कर होता है। जो एक्साइज टैक्स के नाम से भी जाना जाता है। ये वस्तुओं के उत्पादन या मैन्युफैक्चरिंग पर सरकार के द्वारा लागाय जाता है। जब माल बेचा जाता है तो माल के साथ सेल बिल में इसे जोड़कर वसूला जाता है। इसी टैक्स को सरकार को दिया जाता है। 

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