नितिन गडकरी का ऐलान!, इन दो शहरों के बीच होगा देश का पहला इलेक्ट्रिक हाईवे, ऐसे करेगा काम
मंगलवार को एक कार्यक्रम के दौरान सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी (Road Transport and Highways Minister Nitin Gadkari) ने बता दिया कि देश के किन दो शहरों के बीच पहला इलेक्ट्रिक हाईवे बनेगा।;
भारत में पेट्रोल-डीजल और सीएनसी के बजाय अब इलेक्ट्रिक वाहनों पर ज्यादा जोर दिया जा रहा है। अब सरकार की कोशिश है कि देश में इलेक्ट्रिक हाईवे (electric highway) का निर्माण किया जाए। मंगलवार को एक कार्यक्रम के दौरान सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी (Road Transport and Highways Minister Nitin Gadkari) ने बता दिया कि देश के किन दो शहरों के बीच पहला इलेक्ट्रिक हाईवे बनेगा।
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, नितिन गडकरी ने कहा कि भारत का पहला इलेक्ट्रिक हाईवे दिल्ली और जयपुर के बीच बनाना उनका सपना है। साथ ही आगे कहा कि भारत सरकार ने देश के कई पहाड़ी राज्यों जैसे मणिपुर, सिक्किम, उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश और कश्मीर में रोपवे का काम चलेगा। क्योंकि इन राज्यों में रोपवे केबल लगाने के लिए 47 प्रस्ताव मिल चुके हैं।
एक कार्यक्रम में उन्होंने कहा कि मेरा सपना दिल्ली और जयपुर के बीच एक इलेक्ट्रिक हाईवे बनाना है। उन्होंने कहा कि हमारे मंत्रालय का बजट अच्छा है और मार्किट भी इसका समर्थन करने के लिए तैयार है। बजट 2022-23 में सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 1.99 लाख करोड़ रुपये आवंटित किए थे। इसमें से 1.34 लाख करोड़ एनएचएआई को दिए गए हैं। जो देशभर में नेशनल हाईवे और एक्सप्रेसवे के विकास के लिए मुख्य रूप से जिम्मेदार है।
सड़क पर बिजली के तार
जानकारी के लिए बता दें कि पहले ही गडकरी ने बताया था कि दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेस-वे में भी वन-लेन ई-हाईवे बनेगा। जिसकी कुल लंबाई 1300 किमी होगी। इस ई-हाईवे को बनाने में जर्मन तकनीक का इस्तेमाल किया जाएगा। सरकार ने इस ई हाईवे के निर्माण के लिए जर्मन कंपनी के साथ करार किया है। सड़क पर बिजली के तार लगे होंगे और इनमें 670 वोल्ट करंट चालू रहेगा। जैसे ट्रेन के ऊपर बिजली की तार की लाइन बनी होती है। इलेक्ट्रिक वाहन केबल की मदद से चलेंगे। ई-हाईवे पर 120 किमी प्रति घंटे की रफ्तार होगी और इसके जरिए पेट्रोल डीजल और सीएनजी से होने वाले प्रदूषण में भी कमी आएगी।