Chandrayaan-2 : इन 4 वजहों से अभी भी है ISRO की उम्मीदें बरकरार

भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) का मिशन चंद्रयान 2 पूरी तरह सफल नहीं रहा। चांद की सतह पर सॉफ्ट लैंडिंग के वक्त ही इसरो का संचार लिंक लैंडर से टूट गया। जिसके बाद अब इसरो को ऑर्बिटर से उम्मीद है कि वो अब मिशन को पूरा करेगा। चंद्रमा के दक्षिण ध्रुव पर लैंडर रोवर को उतरना था।;

Update: 2019-09-07 05:15 GMT

भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) का मिशन चंद्रयान 2 पूरी तरह सफल नहीं रहा। चांद की सतह पर सॉफ्ट लैंडिंग के वक्त ही इसरो का संचार लिंक लैंडर से टूट गया। जिसके बाद अब इसरो को ऑर्बिटर से उम्मीद है कि वो अब मिशन को पूरा करेगा। चंद्रमा के दक्षिण ध्रुव पर लैंडर रोवर को उतरना था।

इसरो अध्यक्ष के सिवन ने जानकारी देते हुए कहा कि कम्युनिकेशन लिंक को बंद करने की घोषणा की। संपर्क चंद्रमा की सतह से 2.1 किमी दूर था। इसके बाद संचार लिंक टूट गया। लाइव स्क्रीनिंग के दौरान विक्रम लैंडर अपने नियोजित मार्ग से थोड़ा बदल गया और फिर उसके बाद उसका संपर्क टूट गया।

जिसके बाद पीएम मोदी ने इसरो सेंटर पहुंचकर सुबह 8 बजे वैज्ञानिकों और देश को संबोधित किया। इस दौरान उन्होंने कहा कि जब संपर्क टूटा तो जिस पल को आपने जिया उसी पर को मैं भी महसूस कर रहा था। ऐसे में उन्होंने वैज्ञानिकों को लेकर कहा कि देश आपके साथ है। ऐसे पड़ाव आते रहते हैं। आगे बढ़ें और मंजिल की तरफ चलते रहे।

इन 4 वजहों से उम्मीदें

1 अभी तक लैंडर और रोवर को निष्क्रिय घोषित नहीं किया गया है। ऐसे में उसकी स्थिति का पता चलने पर दोबारा संपर्क जोड़ा जा सकता है। ऐसे में अभी भी उम्मीद है।

2. लैंडर और रोवर से ऑर्बिटर अलग हुआ था जो चांद की कक्षा में 119 किलोमीटर की ऊंचाई पर परिक्रमा लगा रहा है।


3. अब ऑर्बिटर अगले एक साल तक चांद पर काम करेगा। ऐसे में लैंडर की स्थिति का पता नहीं चलने पर मिशन जारी रहेगा।

4. ऐसे में ऑर्बिटर में लगे 5 पेलोड हाई स्कैनर कैमरा चांद की सतह की तस्वीरें और वहां पर मौजूद पानी, बर्फ और खनिज के बारे में जानकारी देगा। 

और पढ़े: Haryana News | Chhattisgarh News | MP News | Aaj Ka Rashifal | Jokes | Haryana Video News | Haryana News App 

Tags:    

Similar News